इंश्योरेंस पॉलिसी में सही जानकारी देना है बेहद जरूरी, वरना क्लेम हो सकता है रिजेक्ट

punjabkesari.in Saturday, Jul 19, 2025 - 06:16 PM (IST)

नेशनल डेस्क : जीवन की अनिश्चितताओं को ध्यान में रखते हुए आज के दौर में इंश्योरेंस लेना आवश्यक हो गया है। चाहे वह गाड़ी का इंश्योरेंस हो, हेल्थ कवर या जीवन बीमा, हर कोई अपनी सुरक्षा के लिए किसी न किसी तरह की पॉलिसी लेता है। मुश्किल वक्त में यह इंश्योरेंस आर्थिक बोझ को कम करने में सहायक होता है। लेकिन पॉलिसी लेने के दौरान की गई छोटी-छोटी गलतियां भारी पड़ सकती हैं और क्लेम रिजेक्ट हो सकता है।

इंश्योरेंस लेते समय सही जानकारी देना जरूरी
विशेषज्ञों का कहना है कि जब आप इंश्योरेंस पॉलिसी के लिए आवेदन करते हैं तो पॉलिसी फॉर्म में सही और पूरी जानकारी भरना बेहद महत्वपूर्ण है। खासकर स्वास्थ्य से जुड़ी जानकारी छिपाना बेहद नुकसानदेह साबित हो सकता है। कई लोग सोचते हैं कि पुरानी बीमारियों या धूम्रपान, शराब जैसी आदतों का खुलासा करने पर प्रीमियम बढ़ जाएगा, लेकिन यह धारणा गलत है। कंपनियां मेडिकल हिस्ट्री जांचती हैं और क्लेम के वक्त जानकारी छुपाने पर क्लेम रिजेक्ट कर सकती हैं।

गाड़ी और प्रॉपर्टी इंश्योरेंस में भी सावधानी जरूरी
इंश्योरेंस कंपनियां केवल स्वास्थ्य संबंधी ही नहीं बल्कि गाड़ी या प्रॉपर्टी इंश्योरेंस में भी सभी जोखिमों की जानकारी चाहती हैं। कोई भी जोखिम छुपाने पर पॉलिसी धारक को क्लेम के दौरान परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। इसलिए पूरी जानकारी सही-सही देने से क्लेम आसानी से मंजूर हो जाता है।

इंश्योरेंस लेते समय किन बातों का रखें ध्यान?
इंश्योरेंस खरीदते समय केवल प्रीमियम पर ध्यान देना पर्याप्त नहीं होता। आपको यह भी समझना चाहिए कि आपकी पॉलिसी में कितनी कवरेज है, किन बीमारियों या दुर्घटनाओं को कवर किया गया है, क्या एक्सक्लूज़न हैं, क्लेम सेटलमेंट का रेशियो क्या है और कैशलेस सुविधा उपलब्ध है या नहीं। इन बातों को ध्यान में रखकर ही सही पॉलिसी का चुनाव करना चाहिए।


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Content Editor

Shubham Anand

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