गुलमर्ग हादसा: 3 घंटे तार पर रहीं 150 जिंदगियां

punjabkesari.in Tuesday, Jun 27, 2017 - 01:13 PM (IST)

जम्मू: गुलमर्ग में रविवार दोपहर 3 बजे केबल तार पर पेड़ गिरने से केबल कार (गंडोला) के नीचे जमीन पर गिरने से 7 लोगों की मौत हो गई। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि बाद दोपहर 3 बजे अचानक तेज आंधी चलने लगी। मौसम खराब होता देख गंडोला का सफर रोक दिया गया, लेकिन जिस केबल कार के साथ यह हादसा हुआ है, उसे दूसरे टावर तक पहुंचाने के लिए उसका सफर जारी रखा गया। इसी बीच तेज आंधी से देवदार का एक पेड़ जड़ से उखड़ कर दूसरे पेड़ पर गिर गया। दूसरा पेड़ टूट कर तार पर जा गिरा, जिससे केबल कार को जबरदस्त झटका लगा। झटका लगने से केबल कार के हुक तार से निकल गए और केबल कार नीचे जा गिरी। हादसे में 7 लोगों की मौत हो गई, जिनमें से 4 दिल्ली के रहने वाले थे। 
PunjabKesari
जब हवा में अटक गई पर्यटकों की सांसें
गुलमर्ग में रविवार को केबल कार गिरने का हादसा बहुत ही भयावह था। दुर्घटना के बाद 150 के करीब लोगों की सांसें तब अटक गईं, जब वे केबल कार में फंसे रहे। जब तक रैस्क्यू आप्रेशन चला कर लोगों को निकाला नहीं गया, तब तक पर्यटकों और बचाव अभियान में लगे बचाव दल के बीच तनाव बना रहा। रैस्क्यू आप्रेशन करीब 3 घंटे तक चला। गत दिवस 2 गंडोला टॉवरों के बीच केबल कार की तार पर पेड़ गिरने से 7 लोगों की मौत हो गई थी, जो बहुत ही दुखद था। मृतकों में से 4 दिल्ली के एक ही परिवार के हैं। गुलमर्ग में केबल कार सॢवस में इस तरह की यह पहली दुर्घटना बताई जा रही है। केबल कार रोप-वे टूट जाने के कारण 150 से अधिक लोग फंस गए थे। पुलिस की रैस्क्यू टीम ने त्वरित कार्रवाई करते हुए हवा के बीच फंसे लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला था।
PunjabKesari
पहली बार हादसा होने के कारण नहीं अपनाई गई एस.ओ.पी. 
स्टैंडर्ड आप्रेटिंग प्रोसिजर के तहत तेज हवाओं के दौरान गंडोला आप्रेशन को बंद कर दिया जाना चाहिए था, लेकिन गुलमर्ग में पहले भी तेज हवा चलती रहती है और इस दौरान गंडोला भी चलता रहता है। तेज हवाओं के कारण अभी तक कोई हादसा पेश नहीं आया था। शायद यही कारण था कि जम्मू-कश्मीर केबल कार कार्पोरेशन ने रविवार को भी स्टैंडर्ड आप्रेटिंग प्रोसिजर की अनदेखी कर गंडोला का परिचालन जारी रखा। 
PunjabKesariअब जम्मू और पत्नीटॉप के केबल कार प्रोजैक्टों पर कई कयास
वर्तमान राज्य सरकार जम्मू के बाहू फोर्ट से पीरखो तक केबल कार प्रोजैक्ट और पत्नीटॉप-कुद प्रोजैक्ट पर अभी से संशय पड़ गया लगता है जो अभी प्रारम्भिक चरणों में ही है। जम्मू के प्रोजैक्ट अभी क्रियान्वित होने में समय लग सकता है, लेकिन लोग अभी से कई कयास लगा रहे हैं। 
PunjabKesari
जांच के बाद ही चलती है टिम्बर ट्रेल 
परवाणु में टिम्बर ट्रेल का सफर साहस व रोमांच से भरपूर है। 8 मिनट के इस सफर में ट्रेल गहरी खाई को पार करती हुई हरे-भरे पेड़ों को पीछे छोड़ते हुए पहाड़ की ऊंची चोटी की ओर जैसे-जैसे आगे बढ़ती है, वह रोमांच ही पर्यटकों को यहां आने के लिए बार-बार खींच रहा है। सुरक्षा के लिहाज से यह सेफ है।  13 अक्तूबर, 1992 को हुए हादसे के बाद से इसकी सुरक्षा का खासा ध्यान रखा जा रहा है। लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंता एस.के. सोबती ने बताया कि टिम्बर ट्रेल की समय-समय पर जांच की जाती है। 2 माह पूर्व भी निरीक्षण किया गया था। यह सुरक्षा के लिहाज से सेफ है। 
PunjabKesari
जाखू रोप-वे को पेड़ों से खतरा 
 तेज हवा चलने पर सुरक्षा की दृष्टि से शिमला में स्थित जाखू रोपवे का संचालन रोक दिया जाता है। इसके अलावा रोपवे में विंड पैरामीटर्स भी लगाए गए हैं। जाखू रोपवे के दायरे में अभी भी एक पेड़ आ रहा है जोकि हादसे का सबब बन सकता है। ऐसे में इस रोपवे का संचालन कर रही कंपनी इसे काटने की अनुमति मांगेगी। हालांकि जाखू रोप-वे का अधिकतर भाग ट्री लाइन से ऊपर है, लेकिन जो पेड़ जाखू रोप-वे की रोप के कुछ नजदीक हैं, उन्हें काटने की जरूरत महसूस की जा रही है। रोप-वे में चलने वाले कैबिन को अंदर से यात्री खोल नहीं सकते हैं। 
PunjabKesari
धीरज गुप्ता की अध्यक्षता में बनी जांच कमेटी
सरकार ने गुलमर्ग केबल कार दुर्घटना की जांच के लिए जांच कमेटी गठित कर दी है। पावर डिवैल्पमैंट डिपार्टमैंट के कमिश्नर/सैक्रेटरी धीरज गुप्ता के नेतृत्व में जांच कमेटी में चीफ इंजीनियर सिस्टम एंड आप्रेटिंग जम्मू शोबन कुमार जुत्शी और सुपरिंटैंङ्क्षडग इंजीनियर (मैकेनिकल), स्किम्स श्रीनगर को शामिल किया गया है।  जांच कमेटी दुर्घटना के कारणों की जांच करेगी और 15 दिनों के भीतर सरकार को अपनी रिपोर्ट पेश करेगी। इससे पहले केबल कार कार्पोरेशन के महाप्रबंधक रियाज अहमद ने रविवार को गुलमर्ग में हुए गंडोला हादसे के लिए भगवान की मर्जी को जिम्मेदार ठहराया। 
PunjabKesariवहीं मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती द्वारा इस हादसे की जांच के लिए टीम गठित कर दी गई है और जांच के बाद हादसे की जिम्मेदारी निर्धारित हो जाएगी।  प्रथम दृष्टया जांच में इस हादसे के पीछे तेज हवाओं के बावजूद गंडोला चलाने की लापरवाही को जिम्मेदार माना जा रहा है। डिवीजनल कमिश्नर बशीर अहमद खान ने हादसे के बाद जांच करवाने की बात कही है। उन्होंने कहा कि तेज हवाओं से केबल कैबिन के गिरने की प्रमुख वजह पर फोकस किया जाएगा। उन्होंने इस बात का खुलासा नहीं किया कि हादसे की उच्चस्तरीय जांच किस एजैंसी से करवाई जाएगी?  सूत्रों के अनुसार जांच की पूरी गोपनीयता रखी गई है। 
PunjabKesari
नियमित तौर पर की जाती है जांच
जाखू रोप-वे का निर्माण रोप-वे एक्ट के तहत किया गया है। लोक निर्माण विभाग के मैकेनिकल इंजीनियर नियमित तौर पर इसकी जांच करते हैं, ताकि किसी तरह की अनहोनी न हो। साथ ही रोप-वे कर्मचारियों को भी सावधानी बरतने की हिदायत दी जाती है। 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Recommended News

Related News