ग्रेटा के ‘टूलकिट' के पीछे विदेशी साजिश! जांच में जुटी दिल्ली पुलिस ने गूगल से मांगा जवाब

punjabkesari.in Saturday, Feb 06, 2021 - 10:47 AM (IST)

नेशनल डेस्क:  दिल्ली पुलिस ने ‘टूलकिट' बनाने वालों के संबंध में  गूगल और अन्य सोशल मीडिया कंपनियों से ईमेल आईडी, डोमेन यूआरएल और कुछ सोशल मीडिया अकाउंट की जानकारी देने को कहा। जलवायु परिवर्तन कार्यकर्ता ग्रेटा थनबर्ग ने एक ‘टूलकिट' ट्विटर पर साझा किया था। दिल्ली पुलिस के साइबर सेल ने भारत सरकार के खिलाफ सामाजिक, सांस्कृतिक और आर्थिक युद्ध छेड़ने के लक्ष्य से ‘टूलकिट' के ‘खालिस्तान समर्थक' निर्माताओं के खिलाफ बृहस्पतिवार को प्राथमिकी दर्ज की थी। 

PunjabKesari

कंपनियों से जानकारी मिलने का इंतजार 
साइबर सेल के पुलिस उपायुक्त अन्येश रॉय ने बताया कि गूगल और अन्य कंपनियों को पत्र लिखकर अकाउंट बनाने वालों, दस्तावेज अपलोड करने वालों और सोशल मीडिया पर ‘टूलकिट' डालने वालों के बारे में जानकारी मांगी गई है। पुलिस ने कहा कि उसने ‘टूलकिट' में जिन ईमेल, डोमेन यूआरएल और कुछ सोशल मीडिया अकाउंट का जिक्र किया गया है, उनकी जानकारी मांगी है। यह दस्तावेज गूगल डॉक के जरिए अपलोड किया गया और बाद में ट्विटर पर साझा किया गया। रॉय ने कहा कि फिलहाल हम संबंधित कंपनियों से जानकारी मिलने का इंतजार कर रहे हैं और उनसे मिलने वाली जानकारी के आधार पर ही हम आगे की कार्रवाई करेंगे। 

PunjabKesari
अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज 
पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि मूल दस्तावेज से जांचकर्ताओं को ‘‘टूलकिट' का निर्माण करने वाले और उसे साझा करने वाले व्यक्ति/व्यक्तियों को पहचानने में मदद मिलेगी। उन्होंने कहा कि जिस दस्तावेज की बात हो रही है उसे कुछ लोगों ने बनाया, संपादित किया और उसे अपलोड किया। इन सभी की पहचान करना महत्वपूर्ण है क्योंकि इसमें से साजिश की बू आ रही है। पुलिस ने बताया कि अज्ञात लोगों के खिलाफ भादंसं की धाराओं के तहत आपराधिक षड्यंत्र, राजद्रोह और अन्य आरोप में मामला दर्ज किया गया है।

PunjabKesari
‘टूलकिट' का लक्ष्य गलत भावना फैलाना
दिल्ली पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार, शुरुआती जांच से पता चला है कि दस्तावेज के तार खालिस्तान-समर्थक समूह ‘पोएटिक जस्टिस फाउंडेशन' से जुड़े हैं। उन्होंने कहा कि 26 जनवरी को हुई हिंसा सहित पिछले कुछ दिनों के घटनाक्रमों पर ध्यान देने पर पता चला है कि ‘टूलकिट' में बतायी गई योजना का अक्षरश: क्रियान्वयन किया गया है। इसका लक्ष्य भारत सरकार के खिलाफ सामाजिक, सांस्कृतिक और आर्थिक युद्ध छेड़ना है। पुलिस के अनुसार, ‘टूलकिट' में एक खंड है, जिसमें कहा गया है.... 26 जनवरी से पहले हैशटैग के जरिए डिजिटल हमला, 23 जनवरी और उसके बाद ट्वीट के जरिए तूफान खड़ा करना, 26 जनवरी को आमने-सामने की कार्रवाई और इन्हें देखें या फिर दिल्ली में और सीमाओं पर किसानों के मार्च में शामिल हों। पुलिस ने बताया कि दस्तावेज ‘टूलकिट' का लक्ष्य भारत सरकार के प्रति वैमनस्य और गलत भावना फैलाना और विभिन्न सामाजिक, धार्मिक और सांस्कृति समूहों के बीच वैमनस्य की स्थिति पैदा करना है। 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Writer

vasudha

Recommended News

Related News