मेरा बेटा लौटा दो... बंधक बनाए गए BSF जवान के पिता ने केंद्र सरकार से की अपील
punjabkesari.in Friday, Apr 25, 2025 - 04:16 PM (IST)

नेशनल डेस्क. पंजाब के फिरोजपुर सीमा के पास ड्यूटी करते समय गलती से सीमा पार कर जाने पर सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के एक जवान को पाकिस्तानी रेंजर्स ने हिरासत में ले लिया है। जवान की पहचान हेड कांस्टेबल पीके साव के रूप में हुई है, जो बंगाल के हुगली जिले के रिसड़ा के रहने वाले हैं।
परिवार का बुरा हाल, सरकार से मदद की गुहार
पीके साव को बंधक बनाए जाने की खबर से उनके परिवार का रो-रो कर बुरा हाल है। उनके पिता भोलानाथ साव ने सरकार से अपील की है कि उनके बेटे को जल्द से जल्द भारत वापस लाया जाए। उन्होंने यह भी मांग की है कि सरकार उन्हें बताए कि उनका बेटा पाकिस्तान में कहाँ है और उसकी मौजूदा हालत कैसी है।
जवान की पत्नी रजनी साव ने भी रोते हुए केंद्र सरकार से अपने पति की सुरक्षित रिहाई की गुहार लगाई है। उन्होंने बताया कि उनके पति के एक दोस्त ने बुधवार रात उन्हें फोन करके इस घटना की जानकारी दी थी। दोस्त ने बताया कि पीके साव ड्यूटी पर थे और गलती से सीमा पार कर गए थे, जिसके बाद पाकिस्तानी रेंजर्स ने उन्हें पकड़ लिया।
रजनी ने बताया कि उनकी आखिरी बार अपने पति से मंगलवार रात बात हुई थी, जो पहलगाम में आतंकी हमले के बाद हुई थी। और बुधवार सुबह करीब 6 बजे पाकिस्तानी रेंजर्स ने उनके पति को हिरासत में ले लिया।
रजनी ने कहा कि उनके पति 17 साल से देश की सेवा कर रहे हैं। उन्होंने केंद्र सरकार से विनती की है कि किसी भी तरह उनके पति को जल्द और सुरक्षित वापस लाया जाए। साव दंपती का एक सात साल का बच्चा भी है। पीके साव पिछले महीने छुट्टियों में घर आए थे और 31 मार्च को ही वापस ड्यूटी पर लौटे थे।
बीएसएफ जवान के भाई राजेश्वर साव ने बताया कि उन्हें जानकारी मिली है कि उनके भाई की रिहाई के लिए बातचीत चल रही है। केंद्र सरकार और राज्य सरकार दोनों ही प्रयास कर रही हैं और उन्हें उम्मीद है कि उनका भाई सुरक्षित वापस आ जाएगा।
राजेश्वर के अनुसार, यह घटना बुधवार को हुई। उनके दोस्त ने उन्हें बताया कि उनके भाई ड्यूटी पर थे और उनकी तबीयत ठीक नहीं थी। इसलिए वे आराम करने के लिए सीमा के पास एक पेड़ के नीचे बैठ गए और सो गए। उसी समय पाकिस्तानी रेंजर्स आए, उनसे उनके हथियार छीन लिए और उन्हें बंधक बनाकर ले गए। उन्होंने बीएसएफ कार्यालय को फोन किया, जिन्होंने उन्हें आश्वासन दिया है कि उनके भाई को छुड़ाने के प्रयास जारी हैं। पीके साव बीएसएफ की 24वीं बटालियन का हिस्सा थे।