Haryana Election : देश की सबसे अमीर महिला, 2 और निर्दलीय MLA दे सकते हैं BJP को समर्थन
punjabkesari.in Wednesday, Oct 09, 2024 - 02:30 PM (IST)
नेशनल डेस्क : भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) हरियाणा में लगातार तीसरी बार सरकार बनाने के लिए पूरी तरह तैयार है। 90 सीटों वाली विधानसभा में भाजपा ने 48 सीटों पर बढ़त बना रखी है। यह चुनाव परिणाम भाजपा की स्थिति को मजबूत करने का संकेत देते हैं, जो राज्य की राजनीति में एक महत्वपूर्ण बदलाव को दर्शाता है। अब खबर आ रही है कि भारत की सबसे धनी महिला, सावित्री जिंदल, सहित हरियाणा के तीन स्वतंत्र विधायकों के भाजपा सरकार को समर्थन देने की संभावना है। जिंदल, देवेंद्र कादयान और राजेश जूून आज भाजपा के आलाकमान और राज्य चुनाव प्रभारी धर्मेंद्र प्रधान से मिलेंगे।
सावित्री जिंदल की राजनीतिक पृष्ठभूमि
- सावित्री जिंदल, जो पूर्व कांग्रेस मंत्री हैं, ने हिसार से जीत हासिल की है। यह सीट उन्होंने 2005 और 2009 में भी जीती थी।
- देवेंद्र कादयान: भाजपा के बागी, जिन्होंने स्वतंत्र उम्मीदवार के रूप में गन्नौर से जीत हासिल की।
- राजेश जूून: जिन्होंने बहादुरगढ़ में भाजपा के प्रतिद्वंद्वी को हराया।
भाजपा में शामिल होना और चुनाव लड़ना
सावित्री जिंदल ने मार्च में कांग्रेस से अलग होकर भाजपा में शामिल होने का फैसला किया, लेकिन भाजपा द्वारा टिकट न मिलने के कारण उन्होंने हरियाणा विधानसभा चुनाव स्वतंत्र उम्मीदवार के रूप में लड़ा।74 वर्षीय जिंदल ने पहले यह कहा था कि वह बागी नहीं हैं। उन्होंने NDTV को बताया कि उन्होंने हिसार के लोगों की इच्छाओं का सम्मान करते हुए स्वतंत्र के रूप में चुनाव लड़ा। वहीं अब सावित्री जिंदल का कहना है कि, “हिसार के लोगों ने मुझसे कहा कि मुझे किसी भी कीमत पर चुनाव लड़ना है। डॉक्टर साहब (डॉ. कमल गुप्ता) भाजपा से और कांग्रेस ने रारा साहब (राम निवास रारा) को मैदान में उतारा है, इसलिए मेरे पास स्वतंत्र के रूप में चुनाव लड़ने के अलावा कोई विकल्प नहीं था।”
मुख्यमंत्री की संभावित वापसी
भाजपा ने हरियाणा विधानसभा चुनाव में एक ऐतिहासिक तीसरी बार जीत हासिल की है। यह जीत भाजपा के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है, जो राज्य की राजनीति में उसकी मजबूत स्थिति को दर्शाती है। सूत्रों के अनुसार, मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी अपनी दूसरी पारी के लिए वापसी करेंगे। उन्होंने इस बार भाजपा को जीत दिलाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उनकी नेतृत्व क्षमता और राजनीतिक अनुभव ने पार्टी को चुनाव में सफलता दिलाने में सहायता की है।
भाजपा की स्थिति और कांग्रेस की प्रतिक्रिया
भाजपा, जो 90 सदस्यों वाली विधानसभा में 48 सीटों के साथ आराम से आधे मार्क से ऊपर है, के लिए तीन स्वतंत्र विधायकों का समर्थन उनकी ताकत को और अधिक मजबूत करेगा। ये विधायक भाजपा को बहुमत की स्थिति में और मजबूती प्रदान करेंगे, जिससे पार्टी अपनी नीतियों और कार्यक्रमों को प्रभावी ढंग से लागू कर सकेगी।
कांग्रेस की प्रतिक्रिया
दूसरी ओर, कांग्रेस, जिसने चुनाव में दूसरे स्थान पर रहकर हिस्सा लिया, ने परिणामों को स्वीकार करने से इनकार किया है। पार्टी ने मतगणना प्रक्रिया में कई अनियमितताओं का आरोप लगाया है, जिससे उसकी स्थिति कमजोर हुई है। कांग्रेस का यह आरोप भाजपा की जीत पर सवाल उठाता है और राजनीतिक माहौल में तनाव को बढ़ा सकता है।
इस प्रकार, हरियाणा की राजनीति में भाजपा की जीत और कांग्रेस की प्रतिक्रिया दोनों ही महत्वपूर्ण घटनाएँ हैं, जो आगे की राजनीतिक दिशा को निर्धारित करेंगी।