रेप के आरोप पर पार्षद शफीक अंसारी के घर पर चला था बुलडोजर, अब कोर्ट ने निर्दोष करार दिया

punjabkesari.in Saturday, Feb 22, 2025 - 01:56 PM (IST)

नेशनल डेस्क: मध्य प्रदेश के राजगढ़ ज़िले में पूर्व पार्षद शफीक अंसारी को रेप के आरोप से बरी कर दिया गया है, लेकिन उनका जीवन अब पहले जैसा नहीं रहा। इस मामले में आरोपों के बाद शफीक अंसारी का घर बुलडोजर से तोड़ दिया गया था। अब जबकि कोर्ट ने उन्हें निर्दोष करार दिया है, वे अपने घर को गिराए जाने के खिलाफ न्याय की मांग करने की योजना बना रहे हैं।

क्या था पूरा मामला?

यह मामला 2021 में शुरू हुआ था जब शफीक अंसारी, जो उस समय सारंगपुर नगर नगरपालिका के पार्षद थे, ने एक महिला के खिलाफ मादक पदार्थों के अवैध व्यापार की शिकायत की थी। इस शिकायत के बाद नगर निगम ने महिला के घर को अतिक्रमण के कारण गिरा दिया। इसके कुछ ही दिनों बाद महिला ने शफीक अंसारी पर रेप का आरोप लगाया। महिला ने दावा किया कि शफीक ने 4 फरवरी, 2021 को उसे अपने घर बुलाया था और शादी में मदद करने के बहाने उसके साथ बलात्कार किया। महिला की शिकायत के बाद 13 मार्च, 2021 को शफीक अंसारी का घर बुलडोजर से तोड़ दिया गया। शफीक ने बताया कि वे उस वक्त फरार थे और बाद में आत्मसमर्पण कर दिया। उन्हें तीन महीने जेल में रहना पड़ा।

कोर्ट का फैसला

राजगढ़ ज़िले के फ़र्स्ट एडिशनल सेशन जज चित्रेन्द्र सिंह सोलंकी ने 14 फरवरी, 2025 को शफीक अंसारी को बरी कर दिया। उन्होंने कहा कि महिला और उसके पति की गवाही में बहुत अंतर था और आरोपों को साबित करने के लिए कोई ठोस साक्ष्य नहीं थे। कोर्ट ने यह भी कहा कि महिला के साथ यौन संबंध बनाने का दावा मेडिकल या वैज्ञानिक तरीके से साबित नहीं हुआ। इसके अलावा, महिला ने आरोप दर्ज करने में काफी देर की, जिसका कोई संतोषजनक कारण नहीं बताया। कोर्ट ने यह माना कि महिला का आरोप पूरी तरह से बुनियादी साक्ष्य से परे था। महिला ने पहले अपने बेटे की शादी के कारण पुलिस को सूचित नहीं किया, लेकिन इसके बावजूद आरोपों को साबित करने में कोई मदद नहीं मिली। शफीक अंसारी के खिलाफ किसी प्रकार के साक्ष्य प्रस्तुत नहीं किए गए, जो उनकी ग़लत कार्रवाई को साबित कर सकें।

घर के टूटने का दर्द

कोर्ट से बरी होने के बावजूद शफीक अंसारी के पास अब अपना घर नहीं है। उन्होंने अपने घर को अपनी मेहनत और पैसे से 4,000 वर्ग फ़ीट ज़मीन पर बनाया था, लेकिन अब वहां सिर्फ मलबा बचा है। उन्होंने कहा, "मेरे परिवार को इस घटना से बहुत नुकसान हुआ। हम अब अपने भाई के घर पर रह रहे हैं और पहले के घर में कुछ भी नहीं बचा है।" शफीक अंसारी ने बताया कि वह अपने घर को गिराए जाने के खिलाफ अपील दायर करेंगे और मुआवजे की मांग करेंगे। उनका कहना है, "मैंने अपने इलाके में अवैध ड्रग तस्करी के खिलाफ आवाज उठाई थी, और महिला ने मेरे खिलाफ बदला लेने के लिए यह झूठा आरोप लगाया।" अब, बरी होने के बावजूद शफीक अंसारी को अपना घर वापस पाने के लिए कानूनी लड़ाई लड़नी होगी।
 

 


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Content Editor

Ashutosh Chaubey

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