ताइवान पर बढ़ा तनाव… ट्रंप–शी की अचानक फोन कॉल ने बढ़ाई दुनिया की बेचैनी

punjabkesari.in Monday, Nov 24, 2025 - 09:38 PM (IST)

नेशनल डेस्क: व्हाइट हाउस और चीनी अधिकारियों के मुताबिक सोमवार को अमेरिकी प्रेसिडेंट डोनाल्ड ट्रंप और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच एक अहम और संवेदनशील मुद्दों पर केंद्रित फोन वार्ता हुई। यह बातचीत ऐसे समय सामने आई है, जब एशिया-प्रशांत क्षेत्र में पहले से ही तनाव बढ़ा हुआ है।

“ताइवान का चीन में वापस आना- युद्ध के बाद की व्यवस्था का हिस्सा”: शी जिनपिंग

चीन की सरकारी एजेंसी शिन्हुआ ने बताया कि कॉल के दौरान शी जिनपिंग ने ट्रंप से साफ कहा कि ताइवान का मेनलैंड चीन में विलय होना, “द्वितीय विश्व युद्ध के बाद बने अंतरराष्ट्रीय ऑर्डर का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है।” ताइवान खुद को एक स्वतंत्र, लोकतांत्रिक द्वीप के रूप में चलाता है, लेकिन बीजिंग लगातार दावा करता है कि यह उसका अभिन्न हिस्सा है।

व्हाइट हाउस ने कॉल की पुष्टि की, लेकिन खामोश रहा विवरण पर

व्हाइट हाउस के एक अधिकारी ने पुष्टि की कि यह बातचीत सोमवार सुबह हुई, लेकिन कॉल में क्या चर्चा हुई- इस पर कोई विस्तृत जानकारी साझा नहीं की गई। यह चुप्पी अमेरिकी-चीन संबंधों के मौजूदा तनाव के बीच और भी सवाल खड़े करती है।

जापान का बयान भी बना तनाव की वजह

यह कॉल ऐसे समय हुई है जब जापान के प्रधानमंत्री साने ताकाइची ने हाल ही में कहा था कि यदि चीन ताइवान पर कोई सैन्य कार्रवाई करता है, तो जापान की मिलिट्री भी हस्तक्षेप कर सकती है। यह बयान बीजिंग को पहले ही नाराज़ कर चुका है और क्षेत्रीय तनाव को और बढ़ा चुका है।

द्वितीय विश्व युद्ध की ‘विजयी विरासत’ का जिक्र

शी ने वार्ता में कहा कि चीन और अमेरिका- “जिन्होंने युद्ध के दौरान साथ मिलकर लड़ाई लड़ी थी, उन्हें दूसरी विश्व युद्ध की विजयी विरासत को मिलकर सुरक्षित रखना चाहिए।” यह संदेश संकेत देता है कि बीजिंग वॉशिंगटन से ताइवान मुद्दे पर किसी तरह की ऐतिहासिक नैतिक जिम्मेदारी की अपेक्षा कर रहा है।

व्यापार पर भी चर्चा, पर कोई ठोस नतीजा नहीं

दोनों नेताओं ने ट्रेड पर भी बात की, लेकिन चीन की ओर से जारी बयान में अमेरिकी सोयाबीन खरीद या किसी अन्य व्यापारिक समझौते का कोई स्पष्ट उल्लेख नहीं किया गया।


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News Editor

Parveen Kumar

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