चीन को जबरदस्त सबक सिखाने का प्लान बनाकर सत्ता में लौटे ट्रंप, अब डूब जाएगी ड्रैगन की अर्थव्यवस्था !

punjabkesari.in Saturday, Nov 09, 2024 - 10:16 AM (IST)

Washington: अमेरिका (US) और चीन (China) के बीच  तनाव ने दुनिया की दो सबसे बड़ी आर्थिक शक्तियों के बीच एक नए संघर्ष को जन्म दिया है। जबकि चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग (Xi Jinping) अपने देश को टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में एक प्रमुख शक्ति बनाने की कोशिश कर रहे हैं लेकिन अमेरिकी सत्ता में डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) की वापसी चीन के लिए उनकी योजनाओं को प्रभावित कर सकती है। चीन की अर्थव्यवस्था इन दिनों कई चुनौतियों का सामना कर रही है, और हाल ही में चीन सरकार ने इसे संजीवनी प्रदान करने के लिए विभिन्न उपायों की घोषणा की है। लेकिन अमेरिका में  ल्ड ट्रंप की संभावित राष्ट्रपति वापसी ने चीन की आर्थिक योजनाओं पर एक बार फिर से सवालिया निशान लगा दिया है। ट्रंप, जिन्होंने अपने चुनावी प्रचार में चीनी वस्तुओं पर 60 फीसदी तक आयात शुल्क लगाने का वादा किया था, अब चीन की अर्थव्यवस्था के लिए एक नए संकट का संकेत दे रहे हैं। 

 

चीन में रियल एस्टेट सेक्टर लंबे समय से संकट में है। यहां सरकार का कर्ज बढ़ता जा रहा है, बेरोजगारी की दर उच्चतम स्तर पर पहुँच गई है, और उपभोक्ता मांग में कमी ने अर्थव्यवस्था की वृद्धि को रोक रखा है। अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) ने हाल ही में चीन की आर्थिक विकास दर के अनुमान को कम किया है। इस साल, चीन की अर्थव्यवस्था में 4.8% की वृद्धि की संभावना है, जबकि सरकार ने 5% का लक्ष्य निर्धारित किया है। अगले वर्ष के लिए भी 4.5% की वृद्धि का अनुमान लगाया गया है, जो चीन की उम्मीदों से कम है। विशेषज्ञों का मानना ​​है कि यदि चीन ने सही दिशा में कदम नहीं उठाए, तो वह भी जापान की तरह एक आर्थिक ठहराव के संकट में फंस सकता है। 1990 के दशक में जापान ने संपत्ति और स्टॉक बाजार में बुरी तरह से निवेश किया था, जिसके परिणामस्वरूप उसे कई दशकों तक आर्थिक ठहराव का सामना करना पड़ा। 

 

चीन को ऐसे ठहराव से बचने के लिए अपने उपभोक्ता मांग को बढ़ाने पर ध्यान केंद्रित करना होगा। विशेषज्ञों का मानना है कि उसे निर्यात और निवेश पर आधारित वृद्धि की नीति से बाहर निकलकर सतत विकास के लिए सामंजस्य स्थापित करना चाहिए, ताकि देश बाहरी आर्थिक झटकों के प्रति अधिक सहनशील बन सके।
चीन, जिसे अक्सर "दुनिया का कारखाना" कहा जाता है, ने सस्ते सामान के उत्पादन में एक प्रमुख स्थान पाया है। वहीं, वह उच्च तकनीक वाले निर्यात में भी अपनी सफलता को दोहराने का प्रयास कर रहा है।

 

वर्तमान में, चीन विश्व में सौर पैनल, इलेक्ट्रिक वाहनों (EV), और लिथियम आयन बैटरियों के प्रमुख निर्माता के रूप में जाना जाता है। हालाँकि, पश्चिमी देशों के साथ चीन के तनाव में वृद्धि हो रही है। हाल ही में, यूरोपीय संघ ने चीन में निर्मित इलेक्ट्रिक वाहनों पर टैरिफ बढ़ाकर 45 प्रतिशत कर दिया है। एक बार फिर ट्रंप के सत्ता में लौटने से चीन की आर्थिक स्थिति पर नए संकट की परछाई गहराती जा रही है, जिससे चीन को गंभीर आर्थिक चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है। 
 
 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Writer

Tanuja

Related News