मैडीकल लाईन में जानें वालों के लिए खुशखबरी,जल्द शुरु होने वाली हैं एम्स की कक्षाएं

punjabkesari.in Tuesday, Nov 27, 2018 - 02:31 PM (IST)

चंडीगढ़ः केंद्रीय मंत्री हरसिमरत कौर का दबाव स्वास्थ्य विभाग पर रंग लाने लगा है। एम्स को लेकर चल रही कछुआ चाल में बदलाव होता नजर आ रहा है। पंजाब सरकार अगले वर्ष नए सत्र से 50 सीटों में मैडीकल एजुकेशन की पढ़ाई शुरु करने को तैयार है।

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नए सत्र से शुरु होने वाली कक्षाओं को लेकर एम्स की टीम ने सोमवार को हैल्थ एवं मैडीकल एजुकेशन विभाग के प्रिंसीपल चीफ सैक्रेटरी सतीश चंद्रा के साथ बैठक की। माना जा रहा है कि एम्स को लेकर बीबी बादल ने राज्य सरकार पर दबाव बनाया है। वहीं पंजाब सरकार इसे राजनीतिक मुद्दा नहीं बनाना चाहती जिस कारण पूर्ण इंफ्रास्ट्रक्चर न होने के बावजूद सरकार 50 सीटों की क्लासेस शुरु करने को तैयार है।

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वहीं,पेंच इस बात को लेकर फंसा हुआ है कि आखिल क्लासेस कहां पर शुरु की जाएं। स्वास्थ्य विभाग ने एम्स की टीम को विकल्प दिए हैं जिसमें विकल्प के रूप में बठिंडा के करीब पड़ने वाले जय सिंह वाला
गांव,जहां पर आईटीआई की नई बिल्डिंग तो है,लेकिन क्लासेस शुरु करने का आधारभूत ढांचा नहीं है। वहीं,यह बठिंडा से 15 किलोमीटर दूर भी है। 

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दूसरें विकल्प के रूप में स्वास्थ्य विभाग ने एम्स को बाबा फरीद मैडीकल यूनिवर्सिटी का प्रस्ताव दिया है। यहां पर इंफ्रास्ट्रक्चर मौजूद हैष हालांकि सरकार की चिंता यह है कि अगर बाबा फरीद यूनिवर्सिटी में
क्लासेस शुरु होती है तो कहीं हरसिमरत कौर बादल पुनःइसका विरोध न करें,क्योंकि बठिंडा में एम्स का जो इंफ्रास्ट्रक्चर बन रहा है,उसे तैयार होने में करीब दो वर्ष का समय लग सकता है।

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वित्त मंत्री मनप्रीत बादल भी ले रहे रुचि सूत्र बताते हैं कि इस मामले में वित्त मंत्री मनप्रीत बादल भी रुचि ले रहे हैं। उनका चुनावी हलका होने के कारण भी वह हरसिमरत को कोई ऐसा मौका नहीं देना चाहते हैं,जिसका लाभ वह 2019 में उठा सकें। स्वास्थ्य विभाग ने पूरी जिम्मेदारी एम्स के मैनेजमैंट के हाथों में सौंप दी है कि वह कहां पर कक्षाएं शुरू करना चाहती है। एम्स अगर अपने स्तर पर फैसला लेती है तो हरसिमरत कौर बादल को राज्य सरकार पर उंगली उठाने का मौका नहीं मिलेगा।

 


 

  


 


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Sonia Goswami

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