पढ़ाई से जी चुराने लगा है आपका बच्चा तो ये टिप्स कर सकते हैं आपकी Help
punjabkesari.in Thursday, Dec 19, 2019 - 01:34 PM (IST)

शास्त्रों की बात, जानें धर्म के साथ
हर मां-बाप को अपने बच्चे की पढ़ाई की चिंता रहती है। इसका कारण कहीं न कहीं आज कल का वातावरण है। जहां बच्चों का दिमाग अच्छे कामों को छोड़ बुरे कामों में लगने लगा। जिस कारण हर घर में बच्चों की पढ़ाई को लेकर चिंता दिखाई देखने को मिलती है। क्योंकि अगर बच्चे पढ़ने की बजाए अन्य कामों में अपना वक़्त जाया करेंगे तो वो आपकी परेशानी का कारण तो बनेंगे ही बल्कि साथ ही खुद ही अपने भविष्य की बर्बादी का भी कारण बनते हैं। ऐसे में मां-बाप का अपने बच्चे की पढ़ाई और उसके भविष्य की चिंता करना जायज़ है। अब सवाल ये है कि ऐसे में क्या किया जाए जिससे बच्चे बाहर की बातों में मन न लगाकर केवल पढ़ाई में ध्यान लगा सके। तो अगर आपको भी हर समय ये टेंशन सता रही है, अगर आपका बच्चा भी पढ़ाई से जी चुराने लगा है। को आपको बता दें कि कुछ ऐसे टिप्स हैं जिन्हें अगर आप भी 1 बार आजमा कर देखेंगे तो आपकी ये टेंशन हमेशा के लिए खत्म हो सकती है।
आइए जानते हैं इन टिप्स के बारे में-
सबसे पहले बता दें कि वास्तु शास्त्र के अनुसार बच्चों का पढ़ाई से जी चुराने का एक सबसे कारण होता है कि घर का वास्तु। जी हां, कहा जाता है घर का हर कोना बच्चों की पढ़ाई को प्रभावित करता है। परंतु कैसे जानें यहां-
बच्चों की पढ़ाई में एकाग्रता को बढ़ाकर उन्हें एक बुद्धिमान छात्र बनाते हैं ये उपाय-
इस बात का ध्यान रखें कि जिस भी कमरे में बैठकर बच्चा पढ़ाई करता है वो घर के पूर्वी, उत्तर या उत्तर-पूर्वी दिशा में स्थित हो। कहा जाता है इस दिशा में बैठकर पढ़ाई करने से बच्चों की एकाग्रता बढ़ती है और उनका दिमाग तेज़ होता है। माना जाता है बेहतर होगा अगर कमरे का दरवाज़ा भी इसी दिशा में खुले तो।
अगर आप चाहते हैं कि आपके बच्चे का पढ़ाई में अच्छे से मन लगे तो ध्यान रहे कि उसके पढ़ाई का कमरा किसी भी हालत में शौचालय के नीचे कदापि न हो। माना जाता है ऐसा होने से कमरे के भीतर नकारात्मक ऊर्जा का प्रभाव रहता है जो बच्चे के ध्यान में बाधा बनती है।
बच्चे के स्टडी रूम ऐसा होना चाहिए कि वहां हमेशा रोशनी और प्राकृतिक उजाला आता रहे। इससे बच्चे की पढ़ाई पर सकारात्मक प्रभाव पड़ता है।
जिन बच्चों को पढ़ाई के दौरान एकाग्र होने में परेशानी होती हो उन्हें हमेशा पढ़ते समय अपना मुख पूर्वी दिशा की ओर करके पढ़ना चाहिए।
स्टडी टेबल के गंदे होने से बच्चे कीर पढ़ाई प्रभावित होती है। इसलिए ध्यान रखें ये स्थान हमेशा साफ़ हो। बता दें यहां एक टेबल लैंप भी ज़रूर रखनमा चाहिए। ऐसा माना जाता है इससे बच्चे के मन में अच्छे विचार पैदा होते हैं।
वास्तु शास्त्र के अनुसार घर में बच्चों के कमरे में घोड़े की तस्वीर लगाने से उन्हें प्रेरणा मिलती है। इसके साथ इस बात का भी ध्यान रखें कि अगर बच्चों के कमरे का रंग हरा हो तो उनका मस्तिष्क शांत रहता और उसका मन भी पढ़ाई में अच्छे से लग पाता है।