Nag Panchami: नाग पंचमी के दिन करें कालसर्प दोष और राहु-केतु दोष का अंत

punjabkesari.in Thursday, Jul 24, 2025 - 06:56 AM (IST)

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Nag Panchami 2025: सावन माह में आने वाले बहुत सारे त्योहारों में से एक है नाग पंचमी। जो श्रावण के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाई जाती है। इस रोज नाग देवता की पूजा का विधान है। सर्प दोष से मुक्ति के लिए जहां बहुत सारे धार्मिक अनुष्ठान किए जाते हैं, वहीं कालसर्प के साथ ही राहु दोष और केतु दोष का भी अंत किया जा सकता है। राशि अनुसार कुछ ऐसे उपाय ज्योतिष शास्त्र में दिए गए हैं, जिन्हें नाग पंचमी के दिन करने से कुंडली में मौजूद कालसर्प दोष, राहु दोष और केतु दोष को भी दूर किया जा सकता है।

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मेष, सिंह और धनु राशि
ये तीनों राशियां अग्नि तत्व से संबंध रखती हैं। इन्हें कालसर्प और राहु केतु दोष निवारण के लिए सावन माह की नाग पंचमी पर नाग देवता की पूजा करनी चाहिए। किसी भी नाग मंदिर में जाकर आसन पर बैठकर इस मंत्र का जाप करें।

मंत्र- ऊं नागेंद्रहाराय नमः

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वृषभ, कन्या और मकर राशि
पृथ्वी तत्व से जुड़ी इन राशियों को नाग पंचमी पर भगवान शिव की पूजा के बाद नाग देवता की उपासना जरुर करनी चाहिए। चांदि अथवा तांबे का बना नाग-नागिन का जोड़ा शिवलिंग पर अर्पित करें।

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मिथुन, तुला और कुंभ राशि
ये राशियां वायु तत्व का प्रतिनिधित्व करती हैं। नाग पंचमी के दिन नाग देवता की पूजा करने के बाद उन्हें मीठि सेवियों का भोग लगाएं और इस मंत्र का यथासंभव जाप करें। जाप उपरांत कंबल और सफेद खाद्य पदार्थों का दान करें।

मंत्र- ॐ भुजंगेशाय विद्महे, सर्पराजाय धीमहि, तन्नो नाग: प्रचोदयात्

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कर्क, वृश्चिक और मीन राशि
इन राशियों को शिवलिंग की पूजा के बाद नाग देव की पूजा करनी चाहिए और इस मंत्र से नाग देव को प्रसन्न करना चाहिए-

मंत्र- अनन्तं वासुकिं शेषं पद्मनाभं च कम्बलम्। शङ्ख पालं धृतराष्ट्रं तक्षकं कालियं 

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Content Writer

Niyati Bhandari

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