Mangal vakri December 2024: आज मंगल चलेंगे उल्टी चाल, बदलेगा कई राशियों का खेल
punjabkesari.in Saturday, Dec 07, 2024 - 07:20 AM (IST)
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Mangal vakri December 2024: ग्रहों के सेनापति मंगल 7 दिसंबर से 24 फरवरी तक अब उल्टी चाल में रहेंगे यानी रेट्रोग्रेड रहेंगे, जिससे ज्योतिष की भाषा में वक्री हो जाना कहा जाता है। मंगल वैसे भी इस समय कर्क राशि में गोचर कर रहे हैं, जो मंगल की नीच राशि है। एक तो नीचे राशि में गोचर और दूसरा नीच राशि में ही गोचर करते समय उल्टी चाल शुरू कर देना ज्योतिष में अच्छा नहीं माना जाता। खासकर ग्रहों के सेनापति मंगल जब नीच राशि में गोचर करते हुए उल्टी चाल चलने लगते हैं तो उनके अशुभ फलों में भी बढ़ोतरी हो जाती है। कुछ राशियों को बेहद संभल कर रहने की जरूरत होती है। इन राशियों को वाहन भी सावधानी से चलाना होता है। अब 7 दिसंबर से 24 फरवरी तक का समय ज्योतिष की दृष्टि से बहुत ही महत्वपूर्ण है। मंगल का उल्टी चाल चलते हुए नीच राशि में गोचर हमारी जिंदगी पर क्या प्रभाव डालेगा। ज्योतिष में रुचि रखने वालों के लिए बहुत महत्वपूर्ण भी है क्योंकि मंगल इस चल रहे संवत के राजा भी हैं। अब राजा जब नीच राशि में बैठेगा तब क्या देगा।
वैसे भी हमारे नवग्रह में मंगल ग्रह को सेनापति का दर्जा हासिल है। ज्योतिष में मंगल ग्रह को ऊर्जा, साहस, जोश, शौर्य, शक्ति, आत्मविश्वास, परिश्रम, भाई व भूमि का कारक ग्रह माना जाता है। यह ग्रह विशेष रूप से व्यक्ति की इच्छाशक्ति यानी विल पावर, आत्मरक्षा और संघर्ष क्षमता को प्रभावित करता है। यह हमारे भीतर ऊर्जा और साहस को उत्पन्न करता है। जिन लोगों की कुंडली में मंगल मजबूत होता है, वे साहसी, जोशीले और किसी भी चुनौती का सामना करने के लिए तैयार होते हैं।
मजबूत मंगल वाले लोग शारीरिक रूप से स्वस्थ और ताकतवर होते हैं, जबकि कमजोर मंगल स्वास्थ्य समस्याओं, विशेष रूप से रक्त या मांसपेशियों से संबंधित परेशानियों का कारण बन सकता है।
मंगल ग्रह का प्रभाव हमारी प्रोफेशनल लाइफ यानी पेशेवर जीवन में भी देखा जाता है। यह पुलिस, सेना, इंजीनियरिंग, खेलकूद और रियल एस्टेट जैसे क्षेत्रों में सफलता दिलाने में सहायक होता है। जिनकी कुंडली में मंगल मजबूत होता है, वे लीडरशिप और संघर्षशील भूमिकाओं में सफल होते हैं। मंगल हमारे वैवाहिक जीवन पर भी गहरा प्रभाव डालता है, खासकर तब जब वह 'मांगलिक दोष' बनाता है।
मंगल ग्रह हमें आक्रामक स्वभाव भी देता है यानी अग्रेशन भी देता है। यदि कुंडली में मंगल की स्थिति कमजोर या प्रतिकूल होती है, तो उसे व्यक्ति को बहुत ज्यादा गुस्सा आने लगता है और वह गुस्से में कई बार कई हदें भी पार कर देता हैं, जिससे रिश्तों में तनाव पैदा हो सकता है। ज्योतिष में मंगल को भूमि और संपत्ति का कारक भी माना गया है। जिनकी कुंडली में मंगल अच्छा होता है, वे जमीन-जायदाद के मामलों में सफलता प्राप्त करते हैं।
यही मंगल ग्रह जिसके बारे में मैंने आपको कई चीजे बताई की यह लाइफ में हमें क्या-क्या देता है, यही मंगल ग्रह 7 दिसंबर से जब उल्टी चाल चलेंगे। तो कई राशियों के लिए थोड़ा संभल कर चलने का समय होगा। मंगल और शनि के बीच षडाष्टक योग के प्रतिकूल प्रभाव में भी वृद्धि होगी।
जिन राशियों को थोड़ा संभल कर रहना है, उनके बारे में पहले बताने जा रहे हैं। ऐसी पहली राशि मेष राशि है। मेष राशि के स्वामी मंगल ग्रह हैं और नीच राशि में गोचर करते हुए उल्टी चाल चलना मेष राशि वालों के लिए थोड़ा चुनौती पूर्ण हो सकता है। मेष राशि वालों के कॉन्फिडेंस लेवल में थोड़ी कमी आ सकती है। करियर संबंधी और व्यक्तिगत निर्णय लेते समय अतिरिक्त रूप से सावधानी बरतनी होगी। इन तीन महीनों के दौरान जब मंगल नीच राशि में रहेंगे तो मेष राशि वालों को थोड़ा धैर्य बनाए रखना होगा यानी पेशेंस रखना होगी और एग्रेसिव होने से बचना होगा। वाद-विवाद से खुद को दूर रखना होगा। थोड़ा स्वास्थ्य पक्ष का भी ख्याल रखना होगा।आप पर काम का बोझ भी बढ़ सकता है। थोड़ा खर्च भी बढ़ सकता है। माता की सेहत भी थोड़ा प्रभावित हो सकती है।
दूसरी राशि जिसे थोड़ा संभल कर रहना है, वह कर्क राशि है। जो मंगल की नीचे राशि है और इसी राशि में गोचर करते हुए मंगल उल्टी चाल चलेंगे। कर्क राशि वालों के लिए यह समय पर्सनल लाइफ में थोड़ा उतार-चढ़ाव वाला रहेगा। मंगल की नीचे स्थित आपकी मानसिक स्थिति और आपके एनर्जी लेवल को प्रभावित कर सकती है। आपको अपने गुस्से पर नियंत्रण रखना होगा और तनाव से बचना होगा। करियर और पर्सनल लाइफ से जुड़ी कोई महत्वपूर्ण फैसला जल्दबाजी में लेने से भी बचना होगा। नीच राशि का मंगल आपको थोड़ा आक्रामक और चिड़चिड़ापन भी दे सकता है। स्वास्थ्य संबंधी कोई समस्या भी दे सकता है खासकर पेट और छाती से जुड़े रोगों का ध्यान रखना जरूरी है और रिश्तो में आपको काफी धैर्य बनाए रखना होगा।
तीसरी राशि जिसे थोड़ा संभल कर रहना है वह सिंह राशि है। मंगल के नीच राशि में गोचर से सिंह राशि वालों के घरेलू जीवन में विवाद और असहमति बढ़ सकती है। जिससे आपकी मानसिक शांति में खलल पड़ सकता है। माता के स्वास्थ्य पर भी ध्यान देना जरूरी रहेगा और वाहन चलाते समय अतिरिक्त रूप से सावधान रहना होगा। प्रॉपर्टी से जुड़े मामलों में भी आपको सतर्क होकर काम करना होगा।
चौथी राशि जिसे अलर्ट रहना है, वह मंगल की ही वृश्चिक राशि है और वृश्चिक राशि पर शनि की ढैया भी चल रही है। वृश्चिक राशि वालों के लिए मंगल का नीच गोचर करते हुए उल्टी चाल चलना भाग्य में उतार-चढ़ाव दे सकता है। आप जो काम पूरी मेहनत से कर रहे हैं उसमें आपको अपेक्षित सफलता मिलने में थोड़ा विलंब होगा जिससे आप थोड़ा निराश भी महसूस कर सकते हैं। यात्रा करते समय आपको सावधानी बरतनी होगी खासकर विदेश यात्रा के दौरान सजग रहना होगा। किसी भी धार्मिक विवाद या कानूनी विवाद में उलझने से बचना होगा।
अगली राशि जिसे सतर्क रहना है वह मकर राशि है। मकर राशि के लिए मंगल का गोचर सप्तम भाव में है, जिसे मैरिड लाइफ हाउस भी कहा जाता है। साझेदारी और व्यापारिक संबंधों से जुड़ा भाव भी कहा जाता है। इस दौरान आपके वैवाहिक जीवन और पार्टनरशिप में थोड़ा तनाव बढ़ सकता है और अपने पार्टनरों के साथ थोड़ी असहमति हो सकती है। जिससे नए प्रोजेक्ट या योजनाओं में थोड़ा देरी हो सकती है। आपको किसी भी तरह की जल्दबाजी से बचना होगा और बहुत धैर्य पूर्वक निर्णय लेने होंगे। स्वास्थ्य पक्ष का भी ख्याल रखना होगा।
यह थी वे राशियां जिनके लिए मंगल का नीच राशि में गोचर चुनौती पूर्ण हो सकता है लेकिन हमें यह याद रखना चाहिए कि हर ग्रह का प्रभाव अस्थाई होता है, परमानेंट नहीं होता और ज्योतिषीय उपाय करके हम समस्याओं से निजात भी पा सकते हैं। किसी अच्छे विद्वान एस्ट्रोलॉजर से कुंडली को एनालाइज करवा कर हम उसकी सलाह ले सकते हैं।
गुरमीत बेदी
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