सच्चाई में होती है ये अद्भुत शक्ति

punjabkesari.in Saturday, Jun 13, 2020 - 06:24 PM (IST)

शास्त्रों की बात, जानें धर्म के साथ
यात्रियों का एक काफिला रेगिस्तान से गुजर रहा था। अचानक लुटेरों के गिरोह ने उसे घेर लिया। प्रत्येक यात्री की तलाशी लेकर रुपए तथा अन्य सामान छीन लिया गया। एक बारह वर्षीय लड़के के पास से कुछ नहीं मिला। लुटेरों के सरदार ने पूछा, ‘‘तेरे पास से कुछ नहीं मिला, क्या तू अनाथ तो नहीं है?’’

किशोर ने जवाब दिया, ‘‘मैं अपनी बीमार बहन की खिदमत करने जा रहा हूं। मेरी मां ने सोने की पांच अशॢफयां मेरे लंगोट में छिपा दी थीं, जो मेरे पास हैं।’’

लुटेरों के सरदार ने उससे पूछा, ‘‘जब मां ने अशर्फिंयां छिपा कर रख दी थीं तो तूने हमें क्यों बताया कि अशॢफयां छिपा रखी हैं।’’ किशोर ने बताया, ‘‘मां ने यह भी प्रेरणा दी थी कि जीवन में कभी झूठ नहीं बोलना चाहिए। आपने पूछा तो मैं झूठ कैसे बोलता?’’

 बालक की सत्यनिष्ठा ने डाकू सरदार का हृदय बदल दिया। उसने तमाम यात्रियों से लूटा हुआ सामान वापस करा दिया। सरदार ने कहा, ‘‘बेटा मैं भी आज से सत्य का पालन करने का संकल्प लेता हूं। अब लूटपाट नहीं करूंगा।’’

यह सत्यनिष्ठ बालक आगे चल कर ‘खलीफा अमीन’ के नाम से विख्यात हुआ। 
 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Jyoti

Recommended News

Related News