Ahoi Ashtami 2025: मथुरा का रहस्यमयी राधा कुंड, जहां स्नान से मिलता है संतान सुख का वरदान

punjabkesari.in Thursday, Oct 09, 2025 - 02:00 PM (IST)

शास्त्रों की बात, जानें धर्म के साथ

Ahoi Ashtami 2025: राधा कुंड न केवल एक तीर्थ है बल्कि यह श्रद्धा, प्रेम और मातृत्व का प्रतीक है। अहोई अष्टमी के दिन यहां स्नान करना केवल एक धार्मिक अनुष्ठान नहीं, बल्कि विश्वास और आशा का उत्सव है। जहां हर भक्त को राधा-कृष्ण की कृपा से जीवन का संपूर्ण सुख प्राप्त होता है।

Radha Kund on Ahoi Ashtami
Ahoi Ashtami date and auspicious time अहोई अष्टमी तिथि और शुभ मुहूर्त: इस वर्ष अहोई अष्टमी 2025 का पर्व 13 अक्टूबर (सोमवार) को मनाया जाएगा। पंचांग के अनुसार अष्टमी तिथि 13 अक्टूबर रात 12:24 बजे से शुरू होकर 14 अक्टूबर रात 11:09 बजे तक रहेगी। व्रत और पूजा का शुभ मुहूर्त शाम 5:53 से 7:08 बजे तक रहेगा। इस समय माताएं अहोई माता की पूजा कर संतान की दीर्घायु और सुख-समृद्धि की कामना करती हैं।

Radha Kund on Ahoi Ashtami
Radha Kund The Divine and Mystical Shrine of Mathura राधा कुंड मथुरा का दिव्य और रहस्यमयी तीर्थ
मथुरा की पवित्र भूमि पर स्थित राधा कुंड न केवल प्रेम और भक्ति का प्रतीक है, बल्कि यह स्थल संतान सुख से जुड़ी मान्यताओं के कारण भी प्रसिद्ध है। यह माना जाता है कि जो दंपति अहोई अष्टमी के दिन श्रद्धा से राधा कुंड में स्नान करते हैं, उन्हें राधा रानी का आशीर्वाद मिलता है और संतान सुख प्राप्त होता है। हर साल अहोई अष्टमी पर हजारों श्रद्धालु देशभर से यहां पहुंचते हैं। कुंड में स्नान के बाद भक्त अहोई माता, राधा और श्रीकृष्ण की पूजा-अर्चना करते हैं। ऐसा विश्वास है कि यह स्नान पापों से मुक्ति, आध्यात्मिक शांति और जीवन की पूर्णता का मार्ग खोलता है।

Radha Kund on Ahoi Ashtami
Mythology Origin of Radha Kund and Shyam Kund पौराणिक कथा राधा कुंड और श्याम कुंड की उत्पत्ति
पुराणों के अनुसार, प्राचीन काल में यह क्षेत्र अरिष्ट वन कहलाता था, जहां अरिष्ठासुर नामक राक्षस का आतंक था। उसने गाय के बछड़े का रूप धारण कर श्रीकृष्ण पर आक्रमण किया। श्रीकृष्ण ने उसका वध किया लेकिन चूंकि वह गाय के रूप में आया था इसलिए उन्हें गौहत्या का दोष लगा। इस पाप से मुक्ति पाने के लिए श्रीकृष्ण ने राधा रानी के साथ मिलकर दो पवित्र सरोवरों की रचना की श्याम कुंड और राधा कुंड। इन्हीं कुंडों में स्नान करने से पापों का नाश होता है और पुण्य तथा संतान सुख का आशीर्वाद प्राप्त होता है।

Radha Kund on Ahoi Ashtami
Significance of bathing in Radha Kund on Ahoi Ashtami अहोई अष्टमी पर राधा कुंड स्नान का महत्व
अहोई अष्टमी का व्रत मुख्यतः माताएं अपने बच्चों की लंबी उम्र और सुखमय जीवन के लिए करती हैं। विशेषकर निःसंतान दंपति इस दिन राधा कुंड में स्नान करते हैं और संतान प्राप्ति की प्रार्थना करते हैं। ऐसा विश्वास है कि यहां स्नान करने से मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं और जीवन में सुख-शांति का वास होता है।

Radha Kund on Ahoi Ashtami
कई दंपति जो यहां स्नान के बाद संतान प्राप्त करते हैं, वे पुनः अपने बच्चों के साथ आकर मुंडन संस्कार भी इसी कुंड में कराते हैं। यह परंपरा सदियों से चली आ रही है और आज भी श्रद्धा व आस्था के साथ निभाई जाती है।

PunjabKesari Ahoi Ashtami


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Writer

Niyati Bhandari

Related News