वोडा आइडिया को 5जी सर्विस में मोनोपॉली बनने की चिंता

punjabkesari.in Monday, Apr 01, 2019 - 06:59 PM (IST)

नई दिल्ली: 5जी स्पेक्ट्रम वोडाफोन आइडिया लिमीटेड़ के  चिंता बन चुका है। क्योंकि भविष्य में ५जी सर्विसेज में यूज होने वाले गीगाहर्ट्ज 1 प्रतिशत से कम है। इसलिए उन्हें चिंता है कि स्पेक्ट्रम बैंड के लिए 50 प्रतिशत की कंबाइंड होल्डिंग लिमिट के चलते कहीं समूचा एयरवेव दो कंपनियों के पास सिमट कर न रह जाए। यादि ऐसा होता है तो किसी तीसरी टेलीकॉम कंपनी के लिए 5जी सर्विस शुरू करने की गुंजाइश ही नहीं बचेगी। 

वीआईएल के चीफ रेगुलेटरी ऑफिसर पी बालाजी ने कहा है कि फ्यूचर स्पेक्ट्रम की प्राइसिंग तो अहम ही है।लेकिन स्पेक्ट्रम एक्सेस भी इसके जितनी ही अहम है। अगर 2020 के बाद टेलीकॉम इंडस्ट्री का भविष्य 5जी से तय होता है।  तो कि सभी टेलीकॉम कंपनियों को 5जी स्पेक्ट्रम की खरीदारी के मौके साथ ही उसका एक्सेस भी मिलना बहुत जरुरी है।

सरकार ने स्पेक्ट्रम होल्डिंग की टोटल लिमिट को 25 प्रतिशत से बढ़ाकर 35 प्रतिशत  कर दिया था। इसने 1 गीगा हर्ट्ज से कम यानी 700, 800 और 900 मेगाहर्ट्ज में स्पेक्ट्रम की कंबाइंड होल्डिंग लिमिट 50 प्रतिशत की थी। इसमें से पहले दो बैंड को फ्यूचर में 5जी के यूज के लिए रिफार्मिंग किया जा सकता है। 5जी स्पेक्ट्रम का ऑक्शन इस साल के अंत या फिर अगले साल की शुरुआत में हो सकती है। 

पहले ही 5जी का बेस प्राइस रेगुलेटर के सुझाए दाम से कम रखने की मांग कर चुकी हैं। लेकिन सिर्फ बीआईएल ऐसी कंपनी है जिसने स्पेक्ट्रम होल्डिंग रूल्स में बदलाव करने की मांग रखी है। जिसे पिछले साल ही उदार बनाया गया था। 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Yaspal

Recommended News

Related News