ज्यादातर CEO की राय, पहली छमाही में रोजगार सृजन की संभावनाएं बेहतर रहेंगी

punjabkesari.in Sunday, Jul 10, 2022 - 04:29 PM (IST)

बिजनेस डेस्कः ज्यादातर मुख्य कार्यपालक अधिकारियों (सीईओ) का मानना है कि चालू वित्त वर्ष की पहली छमाही में उनकी कंपनी में रोजगार सृजन की संभावनाएं बेहतर रहेंगी। हालांकि, इसके साथ ही उनकी राय है कि पहली छमाही में मौद्रिक नीति रुख सख्त रहेगा। भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) के एक सर्वे में यह निष्कर्ष निकलकर आया है। हालिया सर्वे सीआईआई ने 2022-23 के लिए अपनी दूसरी राष्ट्रीय परिषद की बैठक में किया था। इसमें देशभर के 136 सीईओ ने भाग लिया। 

सीआईआई ने कहा, ‘‘सर्वे में शामिल 57 प्रतिशत मुख्य कार्यपालक अधिकारियों ने कहा कि सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर सात से आठ प्रतिशत के बीच रहेगी। वहीं 34 प्रतिशत का मानना था कि जीडीपी की वृद्धि दर सात प्रतिशत से कम रहेगी।'' इसके अलावा करीब आधे यानी 49 प्रतिशत मुख्य कार्यपालक अधिकारियों ने कहा कि चालू वित्त वर्ष की पहली छमाही में ग्रामीण मांग पिछले साल की समान अवधि से बेहतर रहेगी। 

सीआईआई ने कहा कि सर्वे के नतीजों से पता चलता है कि मुद्रास्फीति में तेज वृद्धि की वजह से ज्यादातर मुख्य कार्यपालक अधिकारी मानते हैं कि मौद्रिक रुख को सख्त किया जाएगा, वहीं कुल मिलाकर पहली छमाही (अप्रैल-सितंबर) के लिए परिदृश्य मजबूत नजर आता है। सर्वे में शामिल 44 प्रतिशत सीईओ ने कहा कि पहली छमाही में उनकी कंपनी की आमदनी में 10 से 20 प्रतिशत की वृद्धि होगी। वहीं 32 प्रतिशत का मानना था कि उनकी कंपनी की आय 20 प्रतिशत से भी अधिक बढ़ेगी। 

करीब 45 प्रतिशत सीईओ ने कहा कि पहली छमाही में उनकी कंपनी का मुनाफा 10 प्रतिशत से ज्यादा बढ़ेगा। वहीं 40 प्रतिशत का मानना था कि उनकी कंपनी के मुनाफे में बढ़ोतरी 10 प्रतिशत से कम रहेगी। सीआईआई के महानिदेशक चंद्रजीत बनर्जी ने कहा, ‘‘इस सर्वे के नतीजों से भारतीय उद्योग की जुझारू क्षमता का पता चलता है। इसके अलावा सर्वे के नतीजों से पता चलता है कि ऊंची मुद्रास्फीति की चुनौतियों के बावजूद घरेलू के अलावा निर्यात के मोर्चे पर कारोबारी प्रदर्शन सकारात्मक रहेगा।'' 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Writer

jyoti choudhary

Recommended News

Related News