''भारत को 2040 तक ऊर्जा मांग के लिए सालाना 9 लाख करोड़ निवेश की जरूरत''

punjabkesari.in Friday, Nov 27, 2015 - 01:11 PM (IST)

नई दिल्ली: अंतर्राष्ट्रीय ऊर्जा एजैंसी (आईईए) ने आज कहा कि भारत को वर्ष 2040 तक सालाना 9 लाख करोड़ रुपए (140 अरब डॉलर) का निवेश ऊर्जा क्षेत्र में करने की जरूरत है क्योंकि वैश्विक ऊर्जा मांग में किसी दूसरे देश की तुलना में इसका योगदान अधिक रहने की संभावना है।  

आईईए के कार्यकारी निदेशक फतीह बिरोल ने ‘भारतीय ऊर्जा परिदृश्य 2015’ को जारी करते हुए कहा कि इसमें से सालाना करीब 7 लाख करोड़ रुपए (110 अरब डॉलर) निवेश की जरूरत ऊर्जा आपूर्ति के क्षेत्र में है और दो लाख करोड़ रुपए की जरूरत ऊर्जा दक्षता सुधारने में है। उन्होंने कहा, ‘‘भारत के ऊर्जा परिवर्तन को तीन चीजों- निवेश, निवेश और निवेश की जरूरत है। ऊर्जा नियामकीय व्यवस्था को दुरस्त करने के लिए पहले ही काफी कुछ किया जा रहा है और प्रोत्साहन दिया जा रहा है जोकि निवेश आकर्षित करने के लिए बहुत महत्वपूर्ण है।’’  

उन्होंने कहा कि अगले 25 साल में 31.5 करोड़ लोग जो आज अमरीका की आबादी के लगभग बराबर है, भारत की शहरी आबादी में जुड़ जाएंगे जिससे ऊर्जा की मांग बढ़ेगी।  

बिरोल ने कहा, ‘‘अगले 25 साल में वैश्विक ऊर्जा मांग में भारत का योगदान किसी दूसरे देश की तुलना में कहीं अधिक होने जा रहा है जो एशिया और विश्व मंच पर इसके अधिक प्रभाव को रेखांकित करता है। हालांकि 2040 में प्रति व्यक्ति उर्जा की मांग विश्व औसत से नीचे 40 प्रतिशत होगी।’’ उन्होंने कहा कि वर्ष 2040 तक भारत दुनियाभर में कोयले की मांग में वृद्धि का सबसे बड़ा स्रोत बन जाएगा। तेल की मांग भी किसी अन्य देश की तुलना में अधिक होगी और 2040 तक यह एक करोड़ बैरल प्रतिदिन पर पहुंच जाएगी लेकिन इस मामले में बढ़ी हुई मांग की पूर्ति आयात विशेषकर पश्चिम एशिया से आयात से होगी जिससे तेल आयात पर भारत की निर्भरता 90 प्रतिशत से अधिक हो जाएगी। 


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