Economic Survey 2024-25: 31 जनवरी को होगा पेश, बजट से पहले अर्थव्यवस्था की तस्वीर होगी साफ

punjabkesari.in Thursday, Jan 30, 2025 - 04:12 PM (IST)

बिजनेस डेस्कः आर्थिक सर्वेक्षण (Economic Survey) 2024-25 को 31 जनवरी को संसद में पेश किया जाएगा। यह रिपोर्ट भारत की अर्थव्यवस्था का व्यापक विश्लेषण करेगी और आर्थिक नीतियों, विकास दर, प्रमुख सेक्टर्स जैसे एग्रीकल्चर, इंडस्ट्री और सर्विस सेक्टर की स्थिति पर रोशनी डालेगी।

इस सर्वे को मुख्य आर्थिक सलाहकार वी. अनंत नागेश्वरन की देखरेख में तैयार किया गया है, जिसे वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण संसद में प्रस्तुत करेंगी। इसके बाद मुख्य आर्थिक सलाहकार मीडिया के सवालों के जवाब देंगे।

क्या होता है आर्थिक सर्वेक्षण?

आर्थिक सर्वेक्षण सरकार द्वारा प्रस्तुत किया जाने वाला एक महत्वपूर्ण दस्तावेज है, जो देश की आर्थिक सेहत और वित्तीय प्रगति का आकलन करता है। यह रिपोर्ट बीते वित्त वर्ष के प्रदर्शन का लेखा-जोखा देती है और आने वाले वर्षों के लिए संभावनाओं और नीतिगत दिशा की झलक दिखाती है।

इस रिपोर्ट को वित्त मंत्रालय के अंतर्गत तैयार किया जाता है और इसमें आर्थिक सुधारों, सरकारी योजनाओं, औद्योगिक विकास, व्यापार नीति और वैश्विक आर्थिक परिदृश्य का विश्लेषण किया जाता है।

इकोनॉमिक सर्वे का महत्व और उद्देश्य

  • विकास की समीक्षा: देश की अर्थव्यवस्था के प्रदर्शन और विकास दर का मूल्यांकन।
  • चुनौतियों की पहचान: महंगाई, बेरोजगारी, राजकोषीय घाटा जैसी आर्थिक चुनौतियों पर फोकस।
  • भविष्य की नीतियां: बजट से पहले सरकार के आर्थिक एजेंडे और प्राथमिकताओं का संकेत।
  • विभिन्न सेक्टर्स की स्थिति: कृषि, विनिर्माण, सेवा क्षेत्र और व्यापार के रुझानों का विश्लेषण।

दो भागों में होता है पेश

2015 के बाद से आर्थिक सर्वेक्षण को दो भागों में प्रस्तुत किया जाने लगा।

पहला भाग: बजट से पहले पेश किया जाता है, जिसमें अर्थव्यवस्था की मौजूदा स्थिति, सरकारी वित्तीय स्थिति और प्रमुख आर्थिक रुझानों की जानकारी होती है।
दूसरा भाग: जुलाई या अगस्त में जारी किया जाता है, जिसमें विस्तृत आर्थिक आंकड़े और सेक्टर-वार विश्लेषण शामिल होते हैं।


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Content Writer

jyoti choudhary

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