इस साल के अंत तक विदेशी सर्वर से डिलीट होगा भारतीय यूजर्स का डेटाः मास्टरकार्ड

punjabkesari.in Monday, May 13, 2019 - 02:46 PM (IST)

नई दिल्लीः भुगतान क्षेत्र की दिग्गज कंपनी मास्टरकार्ड ने भारतीय ग्राहकों के लेनदेन से जुड़े आंकड़ों को अमेरिकी सर्वरों से हटाना शुरू कर दिया है और उन्हें भारत में संग्रहीत करने का काम भी चालू कर दिया है। इस काम के 2019 के अंत तक पूरा होने की उम्मीद है। एक शीर्ष अधिकारी ने यह बात कही। 

RBI के आदेश के बाद उठाया कदम
कंपनी ने यह कदम भारतीय रिजर्व बैंक के उस आदेश के बाद उठाया है जिसमें उसने भुगतान से जुड़ी प्रौद्योगिकी कंपनियों को स्थानीय स्तर (भारत में) पर ही लेनदेन के आंकड़े संग्रहीत करने के लिए कहा था। हालांकि, मास्टरकार्ड ने पिछले साल अक्टूबर से ही भारतीय सर्वरों में आंकड़े संग्रहीत करने का काम शुरू कर दिया था। यह अमेरिका में संग्रहीत आंकड़ों की नकल है। 

साल 2018 में शुरू हुआ काम 
मास्टरकार्ड के एशिया प्रशांत क्षेत्र के सह-अध्यक्ष अरी सरकार ने बताया, "अक्टूबर 2018 से आंकड़ों को भारत में संग्रहीत किया जा रहा है। यह पहला चरण है। हमारे लिए सिर्फ भारत में ही संग्रहीत करके रखे जाने वाले आंकड़े चिंता का विषय हैं क्योंकि यह सिर्फ कुछ सर्वर लगाने की बात नहीं है। उन्होंने कहा कि मास्टरकार्ड रिजर्व बैंक के साथ बातचीत कर रही है और नियामक की जरूरतों के मुताबिक नियमों का अनुपालन करने के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है। 

सरकार ने कहा, "हम सकारात्मक महसूस कर रहे हैं, हम पहले से कार्यान्वयन प्रक्रिया में है। डेटा प्रतिरूपण (नकल) वास्तव में तीन चरणों में पूरा होगा क्योंकि यह काफी जटिल है।" पहला चरण पांच मई से शुरू हुआ है, जिसमें टोकन के रूप में लेनदेन से जुड़े आंकड़ों के कुछ हिस्से भारत में ही उपलब्ध होंगे। 

5 साल में एक अरब डॉलर का निवेश 
लेनदेन अधिकृत करने के काम जैसे अन्य चरणों पर कंपनी अनुपालन कर रही है। उन्होंने कहा, "टोकन वॉल्ट और इसी तरह की अन्य चीजें भारत में ही बनेंगी। यह हमारी बड़ी कहानी का हिस्सा होगी, अगले कुछ महीनों में हम ऐसा करने में सक्षम होंगे। दिसंबर अंत तक लेनदेन से जुड़ी सभी चीजों को भारत में ही संग्रहीत रखेंगे।" मास्टरकार्ड ने भारतीय बाजार के लिए अगले पांच साल (2024) में एक अरब डॉलर का निवेश करने की प्रतिबद्धता जताई है। इससे पहले 2014-19 के लिए भी एक अरब डॉलर निवेश की प्रतिबद्धता जताई गई थी।


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jyoti choudhary

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