एक बार फिर झूमेंगे jio यूजर्स, 2 साल तक मिलेंगे ऑफर

punjabkesari.in Wednesday, Apr 26, 2017 - 05:07 PM (IST)

नई दिल्लीः अगर मीडिया में आ रही खबरों को सही मानें तो आने वाले दिनों में भी जियो यूजर्स को एक बार फिर झूमने का मौका मिल सकता है क्योंकि कंपनी अगले 12 से 18 महीने तक भारी डिस्काउंट वाली कंप्लीमेंटरी सर्विसेज ऑफर करने की एग्रेसिव प्राइसिंग स्ट्रैटेजी पर कायम रह सकता है। इसका सीधा मतलब है कि जियो को टक्कर देने के लिए एयरटेल, वोडाफोन और बी.एस.एन.एल. जैसी कंपनियों को और मशक्कत करनी पड़ेगी। अमेरिकी बैंक मॉर्गन स्टेनली की रिपोर्ट के मुताबिक, जियो की यह योजना विरोधी कंपनियों के एवरेज रिवेन्यू पर यूजर (ARPU) को भी प्रभावित करेगी।

एक रिपोर्ट में कहा गया है कि जियो के वर्तमान ऑफर के कारण भारती एयरटेल, आईडिया सेलुलर और वोडाफोन इंडिया का ARPU 300 रुपए पर बना हुआ है। जियो ने मार्च में 2020-2021 तक इंडस्ट्री का लगभग आधा रेवेन्यू मार्केट शेयर हासिल करने का टारगेट तय किया था। दिसंबर तिमाही के अंत में भारती एयरटेल के पास अभी 33.1 % जबकि वोडाफोन के पास 23.5 % और आइडिया के पास 18.7 % रेवेन्यू मार्केट शेयर था।

जियो के ग्राहक बढ़ने की रफ्तार में आई कमी
ऐनालिस्टों का कहना है कि जियो के ग्राहक बढ़ने की रफ्तार में कमी आई है। इसको देखते हुए कंपनी को अपनी अग्रेसिव प्राइसिंग बरकरार रखना होगा। कंपनी रोज 6 लाख सब्सक्राइबर्स बनाकर अपने पहले 170 दिन में 21 फरवरी को 10 करोड़ के आंकड़े पर पहुंच गई थी। 31 मार्च 2017 को कंपनी के ग्राहकों की संख्या 10.9 करोड़ पर पहुंच गई। यानी अगले 40 दिनों में रोजाना 2.25 लाख के इजाफे के साथ कुल 90 लाख ग्राहक जुड़े। नोमुरा ने कहा कि जियो के नए ग्राहकों के जुड़ने में आ रही सुस्ती की वजह यह है कि कंपनी 31 मार्च को भारत में इस्तेमाल हो रहे लगभग 13.4 करोड़ 4G स्मार्टफोनों में से ज्यादातर पर पहले ही पहुंच चुकी है। विश्लेषकों ने यह भी कहा, 'ग्राहकों को जोड़ने की रफ्तार नए 4G फोनों के जुड़ने (हर महीने 70-80 लाख) के हिसाब से सीमित हो सकती है। बहुत से वेंडर्स के 4G हैंडसेट्स लॉन्चिंग पर फोकस करने से 4G सेवाओं की पहुंच बढ़ेगी। नॉन 4G हैंडसेट यूजर्स को अपने प्लेटफॉर्म पर लाने के लिए रिलायंस जियो निकट भविष्य में अपने जियोफाई को जोरदार तरीके से बढ़ावा देगी।
 

क्या कहना ब्रोकरेज फर्म एम.के का
ब्रोकरेज फर्म एम.के का कहना है कि अच्छी-खासी कमाई कराने वाले कस्टमर्स बेस हासिल करने का जियो का लक्ष्य मीडियम टर्म में इंडस्ट्री में बेहद प्रतिस्पर्दी माहौल बनाए रख सकता है। उसने कहा कि जियो के नफे-नुकसान का आंकड़ा 1 जुलाई से शुरू होने वाली तिमाही से रिलायंस के शेयरों की कीमत पर असर डालना शुरू कर देगा। ब्रोकरेज फर्म जेपी मॉर्गन के मुताबिक जियो का यूजर बेस दमदार है और इनमें से ज्यादातर ने लगभग 300 रुपये का ऊंचा रिचार्ज ऑप्शन चुना है। लेकिन यह देखने वाली बात होगी कि इनमें से कितने लोग अगस्त के बाद इसी रेट पर पेमेंट करते रह पाएंगे।

 


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