दुनिया के दूसरे सबसे छोटे और सबसे अमीर देश मोनाको की अविस्मरणीय यात्रा

punjabkesari.in Saturday, Jun 07, 2025 - 05:28 AM (IST)

भूमध्यसागर  के तट पर स्थित, प्राकृतिक सौंदर्य से भरपूर, पहाडिय़ों के बीच और ऐतिहासिक राजघराने की धरोहर समेटे 2.08 किलोमीटर में बसा मोनाको दुनिया में वैटिकन के बाद दूसरा सबसे छोटा देश है। कान्स फिल्म समारोह की गहमागहमी के दौरान एक दिन की यात्रा पर यहां पहुंचे तो एक अलग ही संसार के दर्शन हुए। इसके बारे में जो सुना और पढ़ा था, उससे भी अधिक दिलचस्प यह क्षेत्र है। मोंटे कार्लो, फार्मूला वन रेस और कैसीनो : कान्स से सवा घंटे की रेल यात्रा के दौरान फ्रांस के इस इलाके के प्राकृतिक सौंदर्य, समुद्र की लहरें और किनारों पर होटल, रेस्तरां, रिसॉर्ट तथा व्यावसायिक इमारतों को देखते हुए मोनाको मोंटे कार्लो पहुंचकर जब स्टेशन से बाहर निकलना हुआ तो समझ नहीं आया कि यहां की सैर कैसे करनी है। एक सहयात्री ने बस स्टेशन का रास्ता बताया, जहां से बस में बैठकर पूरे क्षेत्र का नजारा देख सकते हैं। 

दोमंजिला बस में ऊपर की सीट पर बैठते ही अद्भुत दृश्य दिखाई देने लगे। विशाल, भव्य और विलासिता के साधनों से भरपूर इमारतों की शृंखला शुरू हो गई। एक स्टेडियम सामने दिखा जो इस समय तो खाली था लेकिन वहां लगी बैंचें और सड़क पर बने कारें खड़ी करने के स्थल, वर्कशॉप और उनमें दुनिया भर के प्रसिद्ध कार चालकों के चित्र देखकर अनुमान लगाना शुरू किया कि जब यहां कार दौड़ होती होगी तो कैसा वातावरण होता होगा। मोंटे कार्लो यहां का सबसे बड़ा डिस्ट्रिक्ट है और फार्मूला वन रेस देखने या उसमें भाग लेने के लिए दुनिया भर से सैलानी यहां आते हैं। रोमांचक कार दौड़ और सबसे महंगी गाडिय़ों को फर्राटे भरते हुए देखने का शौक यहीं पूरा हो सकता है। ग्रैंड प्री मोटर रेसिंग से ही फार्मूला वन की नींव पड़ी है। यह दौड़ दुनिया में बहुत सी जगहों पर होती है लेकिन जो रौनक मोनाको में देखने को मिलती है, उसका कोई मुकाबला नहीं।

फिर यहां विशाल समुद्र के दर्शन हुए। अनंत सागर, झिलमिलाती नीली चादर और सूर्य की किरणों से चमकती जलराशि, मानो जैसे धीर गंभीर समुद्र अपने पास बुला रहा हो। यहां दो बंदरगाह हैं, जिनमें पर्यटकों के लिए नाव और छोटे-बड़े जहाज हैं। इनमे सैर करना केवल धन्ना सेठों के लिए ही संभव है। इनमें विलासिता के सभी साधन होते हैं। इसके बाद आता है कैसीनो, जिसके लिए यहां दुनिया भर के अमीर लोग आते हैं, वक्त बिताते हैं और जुआ खेलते हैं। बाहर से देखने पर इसकी भव्यता का अनुमान लग जाता है, अंदर जाकर देखने की सुविधा हरेक के लिए नहीं है।

इतना बड़ा कैसीनो कहीं और नहीं है, इसलिए यहां आकर इसे देखने का अलग ही अहसास होता है। इसके बाद राज महल, जिसके सामने तैनात सुरक्षा कर्मी अपने विशिष्ट अंदाज में स्वागत करते हैं। पैदल चलते हुए, पहाड़ीनुमा रास्तों से होते हुए और किनारे पर कॉरिडोर की तरह बनी सुरंग के बीच से एक विशाल महल में पहुंचते हैं, तो आश्चर्य होता है कि इस सुनसान जगह पर किस तरह किले जैसा निर्माण हुआ होगा। लिफ्ट, एलीवेटर से होते हुए म्यूजियम तक पहुंचना और वहां से पूरे इलाके का दृश्य देखना अद्भुत है। समुद्र के किनारे इतनी ऊंची दीवारें बनाना और उनमें सभी तरह की सुविधाएं देना वास्तुकला का उत्कृष्ट नमूना है। पहाड़ी जैसी दीवारें और उन पर बनी आकृतियां देखते ही बनती हैं।

अमीरी का पैमाना : 510 एकड़ में फैले इस देश की आबादी सन् 2024 में 38,423 गिनी गई थी। यह दुनिया का सबसे अमीर देश है। सबसे अधिक ईसाई हैं और अन्य धर्मों में 280 मुस्लिम और 100 ङ्क्षहदू भी यहां रहते हैं। हमारे देश के कई अमीर लोगों ने यहां अपना आशियाना बनाया हुआ है। हिंदुजा परिवार का एक सदस्य भी यहां रहता है। हालांकि पर्यटन यहां का प्रमुख आकर्षण है लेकिन व्यापार के लिए भी यह स्थान विशेष महत्व रखता है। मछलीपालन मुख्य व्यवसाय है लेकिन बैंकिंग तथा वित्तीय सेवाओं के लिए दुनिया भर से लोग यहां आते हैं। आमदनी पर कोई टैक्स न लगने से यह टैक्स स्वर्ग कहलाता है।

रियल एस्टेट का भी कारोबार है और विलासिता की वस्तुओं का लेन-देन करने की प्रमुख जगह है। सभी अमीर देशों ने यहां अपने कार्यालय खोले हुए हैं। करोड़पति और अरबपति ही यहां रह सकते हैं और व्यापार कर सकते हैं। काम करने के लिए सैंकड़ों लोग प्रतिदिन फ्रांस और इटली से तेज गति से चलने वाली रेलगाडिय़ों से यहां आते हैं और शाम को लौट जाते हैं। यहां एक दिन का रहने और खाने-पीने का खर्च लाखों का है। सड़कों पर एक से एक महंगी कारें दौड़ती दिखाई देंगी। पुलिस व्यवस्था बहुत अच्छी है, आने-जाने के साधन पर्याप्त हैं, बेरोजगारी का प्रश्न नहीं, चौराहों, गलियों और सड़कों पर यातायात व्यवस्था बहुत अच्छी है। सामुद्रिक संग्रहालय यहां विशेष रूप से लोग देखने आते हैं। राजमहल के सामने यह स्थित है। 

यहां के निवासियों की औसत आयु 90 वर्ष है। साफ, स्वच्छ वातावरण, चारों ओर हरियाली और बहुमंजिला इमारतों में शानदार फ्लैट यहां की जीवनचर्या का मुख्य ङ्क्षबदू है। लगभग 2 लाख अमरीकी डॉलर प्रति व्यक्ति की कमाई है और विलासितापूर्ण जीवन जीने की पूरी सुविधा है। वैसे तो इसका अपना संविधान है लेकिन राजशाही का बोलबाला है। अपराध से अछूता है, फांसी की सजा 1962 में समाप्त कर दी गई थी। महिलाओं के लिए सभी प्रकार की स्वतंत्रता है। मूलभूत अधिकारों की रक्षा के लिए सुप्रीम कोर्ट है। सुरक्षा की जिम्मेदारी के लिए फ्रांस के साथ समझौता है और वही इसके लिए आवश्यक प्रबंध करता है। 18वीं सदी में फ्रांसीसी क्रांति के समय इस पर फ्रांस का कब्जा हो गया था लेकिन नेपोलियन की मृत्यु के बाद यह फिर से साॢडन राजशाही के अंतर्गत आ गया और अब तक स्वतंत्र देश है। 19वीं सदी में मोंटे कार्लो कैसीनो बना और पैरिस के साथ रेल मार्ग स्थापित हुआ। यह देश मनी लांड्रिंग के लिए भी चर्चित रहा है। 

एक अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालय है, जिसमें पढऩे की फीस 13 से 26 लाख वार्षिक तक है। भव्य भवन और वास्तुकला का शानदार उदाहरण इस विश्वविद्यालय की इमारत है। 1986 में इसकी स्थापना हुई थी। अमीर देशों से यहां पढऩे आने वाले विद्यार्थियों की संख्या काफी है। फ्रैंच भाषा बोली जाती है और यूरो यहां की मान्य मुद्रा है। लोग स्वभाव से शांत, मिलनसार और अपने काम से काम रखने वाले हैं। अल्बर्ट द्वितीय यहां के राजकुमार हैं, जिनकी आयु 67 वर्ष है और सन् 2005 से सत्ता में हैं। राजकुमारी चाॢलन उनकी पत्नी हैं और उनके 4 बच्चे हैं, जिनमें से 2 अनैतिक हैं। इंगलैंड की महारानी से लगभग दोगुना इनकी सम्पत्ति का मूल्य है। वे ही सरकार का गठन करते हैं जो उनके प्रति उत्तरदायी है। राष्ट्रीय परिषद है जो राजशाही तथा प्रजातांत्रिक व्यवस्था का संचालन करती है। प्राकृतिक सौंदर्य ने इसे एक दर्शनीय स्थल बना दिया है।-पूरन चंद सरीन


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