भारतीय रेलगाड़ियों में हत्या, बलात्कार और लूटमार में भारी वृद्धि

punjabkesari.in Wednesday, Apr 04, 2018 - 03:33 AM (IST)

देश की जीवन रेखा कहलाने वाली भारतीय रेलों में यात्रा करना अब खतरे से खाली नहीं रहा। पिछले पांच वर्षों के दौरान रेलवे में अपराधों में 500 प्रतिशत की वृद्धि से यात्रियों की सुरक्षा पर प्रश्न चिन्ह लग गया है। 

वर्ष 2016 के लिए राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो की एक रिपोर्ट के अनुसार भारतीय रेलों में पिछले 2 वर्षों के दौरान भारतीय दंड संहिता के अंतर्गत होने वाले अपराधों में 34 प्रतिशत की वृद्धि हुई है जिनमें हत्या, बलात्कार, लूटमार, अपहरण और डकैती के मामले शामिल हैं। रेलों में बड़ी संख्या में सामने आ रहे लूटमार, हत्या, डकैती और बलात्कार के मामलों में आम अपराधियों के अलावा रेलवे व सुरक्षा बलों के सदस्यों तक की संलिप्तता पाई जा रही है जिसके मात्र एक माह के उदाहरण निम्र में हैं : 

09 मार्च को जहरखुरानी गिरोह के सदस्यों ने झांसी के निकट नांदेड़ एक्सप्रैस में 3 यात्रियों को नशीला पदार्थ पिला कर लूट लिया। 14 मार्च को बिहार में जमुई रेलवे स्टेशन के निकट पटना-कोलकाता एक्सप्रैस ट्रेन में एक दर्जन से अधिक सशस्त्र लुटेरों ने पहले तो यात्रियों से मारपीट और लूटपाट की और फिर ट्रेन से उतर कर पथराव कर दिया। 22 मार्च को यशवंतपुर-इंदौर एक्सप्रैस में एक मॉडल के गले से एक बदमाश ने उज्जैन के निकट सोने की चेन झपट ली जबकि दूसरा बदमाश उसके परिजनों का कीमती सामान से भरा बैग चुरा कर ले गया। 23 मार्च को गुवाहाटी से डिब्रूगढ़ जाने वाली रेलगाड़ी में यात्रा कर रहे प्रमोद कुमार राय की हत्या कर दी गई। 26 मार्च को मंगला एक्सप्रैस में बुरहानपुर के निकट देसी कट्टों और चाकू की नोक पर अनेक यात्रियों से पर्स एवं ए.टी.एम. कार्ड आदि लूटे गए। 

27 मार्च को महाराष्ट्र में हार्बर लाइन पर ठाणे के निकट एक स्थानीय रेलगाड़ी में यात्रा कर रही एक 19 वर्षीय युवती के सामने अश्लील हरकत करने के आरोप में गाड़ी में तैनात रेलवे गार्ड के विरुद्ध केस दर्ज किया गया। 29 मार्च को बिहार में पटना जा रही पैसेंजर रेलगाड़ी में मोकामा के निकट एक युवक ने ट्रेन में एक युवती से अश्लील हरकत की तथा युवती के विरोध करने पर उसकी बुरी तरह पिटाई कर दी। 29 मार्च को उत्तर प्रदेश में जौनपुर से वाराणसी जा रही गाड़ी में लुटेरों ने एक महिला को लूटने के बाद चलती गाड़ी से नीचे फैंक दिया। 30 मार्च को हजरत निजामुद्दीन रेलवे स्टेशन से अम्बाला जा रही निजामुद्दीन-अम्बाला पैसेंजर रेलगाड़ी के जनरल कोच में सुबह-सवेरे 4 सशस्त्र बदमाशों ने 14-15 यात्रियों से चाकू की नोक पर नकदी और मोबाइल फोन तथा अन्य मूल्यवान वस्तुएं लूट लीं तथा एक यात्री को चोट भी पहुंचाई। 

31 मार्च को मध्य प्रदेश के सीहोर जिले के बुधनी रेलवे स्टेशन के निकट पुणे-लखनऊ एक्सप्रैस के जनरल कोच में सुबह के समय 2 बदमाशों ने 2 किन्नरों को पहले तो बुरी तरह पीटा और फिर चलती रेलगाड़ी से नीचे फैंक दिया जिससे एक किन्नर की मृत्यु तथा दूसरी गंभीर घायल हो गई। 31 मार्च को नई दिल्ली-सहारनपुर पैसेंजर गाड़ी में कासिमपुर खेड़ी के निकट 3 युवकों ने एक 16 वर्षीय लड़की से बलात्कार कर डाला। 02 अप्रैल को दिल्ली से सहारनपुर जा रही एक पैसेंजर ट्रेन में सीट को लेकर हुए विवाद के बाद 6 युवकों ने एक युवक को मारपीट कर ट्रेन से फैंकने का प्रयास किया और मारपीट करके 6 यात्रियों को घायल कर दिया। 

ये तो वे घटनाएं हैं जो प्रकाश में आई हैं, इनके अलावा भी न जाने कितनी घटनाएं हुई होंगी। चूंकि अधिकांश घटनाएं रात को ही हुई हैं, अत: रात्रिकालीन गाडिय़ों में सुरक्षा के विशेष प्रबंध करने की आवश्यकता है। बेशक रेल मंत्रालय ने रेलों में सुधार की दिशा में पग उठाए हैं जिसमें सुपरफास्ट रेलगाडिय़ां चलाना व अनेक गाडिय़ों की गति बढ़ाना शामिल है परंतु यात्रियों की सुरक्षा के लिए समुचित पग उठाना और संबंधित स्टाफ को जवाबदेह बनाना भी उतना ही जरूरी है। अत: रेलमंत्री इस सम्बन्ध में तुरंत पग उठा कर यात्रियों की सुरक्षा को यकीनी बनाएं।—विजय कुमार 


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Pardeep

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