ब्रह्मांड के बीचोबीच दिखा ''स्वर्ग का दरवाजा''? NASA के तस्वीरों ने किया हैरान!
punjabkesari.in Friday, Apr 04, 2025 - 12:13 PM (IST)

इंटरनेशलन डेस्क: ब्रह्मांड के रहस्यों को उजागर करने में NASA हमेशा से अग्रणी रहा है। लेकिन 1992 में हबल स्पेस टेलिस्कोप द्वारा खींची गई एक तस्वीर ने वैज्ञानिकों और आम लोगों को चौंका दिया। इस तस्वीर में एक विशाल X-आकार की चमकती हुई संरचना दिख रही थी, जिसे कुछ लोगों ने 'स्वर्ग का दरवाजा' और कुछ ने इसे धार्मिक प्रतीकों से जोड़कर देखा। लेकिन क्या यह वास्तव में कोई दिव्य संकेत है या इसके पीछे विज्ञान की कोई गहरी सच्चाई छिपी है?
व्हर्लपूल गैलेक्सी और रहस्यमयी क्रॉस
यह रहस्यमयी तस्वीर दरअसल व्हर्लपूल गैलेक्सी (M51) की है, जिसे पहली बार 13 अक्टूबर 1773 को फ्रांसीसी खगोलशास्त्री चार्ल्स मेसियर ने खोजा था। इस गैलेक्सी के केंद्र में एक अद्भुत क्रॉस जैसी आकृति देखी गई, जिससे यह चर्चा तेज हो गई कि क्या यह वास्तव में किसी दैवीय शक्ति का संकेत है।
धूल और ब्लैक होल के बीच का संबंध
NASA के वैज्ञानिकों के अनुसार यह X-आकार की आकृति दरअसल ब्लैक होल के आसपास मौजूद धूल और गैस के अवशोषण के कारण बनी है। यह आकृति हमें उस विशाल ब्लैक होल की स्थिति को समझने में मदद करती है, जो इस गैलेक्सी के केंद्र में स्थित है।
धूल के छल्ले और उनका प्रभाव
हबल स्पेस टेलिस्कोप द्वारा खींची गई तस्वीर से यह भी पता चला कि सबसे काली पट्टी, जो X के किनारे पर दिख रही है, असल में एक धूल का विशाल छल्ला हो सकती है। इसका व्यास लगभग 100 प्रकाश वर्ष है। वहीं, दूसरी पट्टी एक घूमती हुई गैस और धूल की डिस्क हो सकती है, जो M51 गैलेक्सी के ब्लैक होल के चारों ओर घूम रही है।
धार्मिक मान्यताओं से जुड़ी चर्चा
इस तस्वीर को देखने के बाद कई लोग इसे धार्मिक रूप से भी देखने लगे। कुछ लोगों का मानना है कि यह सूली पर लटके यीशु का प्रतीक हो सकता है, जबकि कुछ इसे स्वर्ग का दरवाजा कह रहे हैं। हालांकि वैज्ञानिक दृष्टिकोण से देखें तो यह मात्र एक खगोलीय घटना है, जो ब्लैक होल और उसके आसपास की धूल और गैस की संरचना को दर्शाती है।