बाबा वेंगा 2025 की सबसे बड़ी भविष्यवाणी अब आई सामने, जल्द गुम हो जाएगा ये महाद्वीप!
punjabkesari.in Sunday, Apr 13, 2025 - 03:35 PM (IST)

नेशलन डेस्क: साल 2025 की शुरुआत ही प्राकृतिक आपदाओं और वैश्विक तनावों के साथ हुई है। म्यांमार और बैंकॉक जैसे देशों में जबरदस्त भूकंप आए, तो लोगों को बाबा वेंगा की सालों पुरानी भविष्यवाणी याद आ गई। अब सवाल उठ रहा है — क्या वाकई 2025 से दुनिया के अंत की शुरुआत हो रही है? क्या यूरोप जैसा समृद्ध और पुराना महाद्वीप तबाह होने जा रहा है?
बाबा वेंगा बुल्गारिया की प्रसिद्ध भविष्यवक्ता थीं। जन्म से दृष्टिहीन होने के बावजूद उन्होंने ऐसी-ऐसी बातें कही थीं जो बाद में सच साबित हुईं। चाहे 9/11 का हमला हो, चेर्नोबिल दुर्घटना या सोवियत संघ का विघटन, इन सबकी उन्होंने पहले से भविष्यवाणी की थी। यही वजह है कि आज भी दुनियाभर में उनके शब्दों को गंभीरता से लिया जाता है।
2025 की सबसे डरावनी भविष्यवाणी — यूरोप का पतन!
बाबा वेंगा की भविष्यवाणियों में साल 2025 को लेकर एक खास चेतावनी है। उन्होंने कहा था कि इस साल एक ऐसा संघर्ष यूरोप में शुरू होगा, जिससे महाद्वीप की जनसंख्या में भारी गिरावट आएगी। उन्होंने संकेत दिया था कि ये संघर्ष सिर्फ सैन्य नहीं बल्कि सांस्कृतिक और आर्थिक भी हो सकता है।
क्या बाबा वेंगा ने भूकंप की भी भविष्यवाणी की थी?
हाल ही में म्यांमार और बैंकॉक में 7.7 तीव्रता का भूकंप आया। भूकंप इतना जबरदस्त था कि धरती बुरी तरह हिल उठी। लोग डर के मारे घरों से बाहर निकल आए। कहा जा रहा है कि बाबा वेंगा ने इस तरह की प्राकृतिक आपदा की आशंका पहले ही जाहिर की थी। हालांकि उनके शब्द प्रतीकों में होते हैं लेकिन घटनाएं अक्सर मेल खा जाती हैं।
क्यों डर रहा है यूरोप? क्या भविष्यवाणी सच होती दिख रही है?
2025 की शुरुआत से ही यूरोप के हालात चिंताजनक हैं।
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अमेरिका ने यूक्रेन को मिलने वाली सैन्य मदद रोक दी है।
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यूक्रेन और रूस का युद्ध अब लंबे समय से चला आ रहा है और इसका समाधान नजर नहीं आ रहा।
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यूरोप में आंतरिक मतभेद भी गहराते जा रहे हैं।
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फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों खुद चेतावनी दे चुके हैं कि यूरोप को तैयार रहना होगा, क्योंकि खतरे बढ़ रहे हैं।
इन सबके बीच, जब बाबा वेंगा की भविष्यवाणी सामने आती है कि “एक पुराना महाद्वीप गुम हो जाएगा”, तो सबसे पहला नाम आता है — यूरोप।
क्या वास्तव में गुम हो सकता है कोई महाद्वीप?
यहां "गुम होना" शब्द का अर्थ शाब्दिक नहीं बल्कि सांकेतिक हो सकता है। इसका मतलब यह भी हो सकता है कि महाद्वीप का प्रभाव, शक्ति और जनसंख्या नष्ट हो सकती है।
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युद्ध के कारण लाखों लोगों की जान जा सकती है
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प्रवासी संकट और राजनीतिक अस्थिरता बढ़ सकती है
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अर्थव्यवस्था ध्वस्त हो सकती है
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सभ्यता का केंद्र कहीं और शिफ्ट हो सकता है
क्या यह दुनिया के अंत की शुरुआत है?
बाबा वेंगा के अनुसार दुनिया का अंत वर्ष 5079 में होगा लेकिन 2025 को उन्होंने “उस अंत की शुरुआत” बताया है। इसका मतलब है कि 2025 से धीरे-धीरे वह घटनाएं शुरू होंगी जो मानव सभ्यता को कमजोर बनाएंगी।