भारतवंशी ISIS कमांडर ग्लोबल टेररिस्ट घोषित

punjabkesari.in Wednesday, Jan 24, 2018 - 11:31 AM (IST)

वॉशिंगटनः आतंकवाद के खिलाफ पाक पर नकेल कसने के बाद अमरीका ने अब नया कदम उठाते हुए इस्लामिक स्टेट (ISIS) के भारतीय मूल के ब्रिटिश आतंकी सिद्धार्थ धर के अलावा बेल्जियम मूल के मोरक्को के रहने वाले अब्दुल लतीफ गनी को ग्लोबल टेररिस्ट घोषित किया है। धर एक ब्रिटिश नागरिक है, जिसने इस्लाम अपना लिया है और वह अबू रुमायशाह के नाम से जाना जाता है। वह ब्रिटेन से जमानत के दौरान 2014 में अपनी पत्नी आयशा और बच्चों के साथ फरार होकर सीरिया मोसुल चला गया व वहां ISIS का कमांडर बन गया।

 एक इंटरव्यू में धर ने कहा था कि 90 साल से दुनिया में खलीफा का शासन नहीं है। कुरान के कई नियम नहीं अपनाए जा रहे हैं। उसकी तमन्ना है कि ब्रिटेन  में शरिया कानून लागू हो। वह डैमोक्रेसी से काफी बेहतर है। वह एक मुसलमान के तौर पर ब्रिटेन के कायदों को अपने हिसाब से नहीं पाता।  धर ISIS का सीनियर कमांडर है और उसे "नया जिहादी जॉन" कहा जाता है।

बता दें कि जनवरी 2016 में यूके के लिए जासूसी करने वाले कई कैदियों की ISIS ने गला काटने का वीडियो जारी किया था। उसमें मास्क पहने जो शख्स था वह कथित तौर पर धर था। धर कुख्यात आतंकी गुट रहे अल-मुहाजिरौं का मैंबर रहा है। अरब मूल का ब्रिटिश शख्स मोहम्‍मद एमवाजी को 'जेहादी जॉन' के नाम से जाना जा ता था। नवंबर 2015 में अमरीकी मीडिया ने दावा किया था कि वह सीरिया के अल रक्का शहर के किए गए ड्रोन अटैक में मारा गया। एमवाजी को ब्रिटिश मीडिया ने 'जेहादी जॉन' नाम दिया‌ था।

धर को भी ब्रिटिश मीडिया ने‌ ही यह नाम दिया है।  2016 में इंडिपेंडेंट ने आईएस द्वारा सैक्स स्लैव बनाई गई यजीदी टीनएजर निहाद बराकत के हवाले से लिखा था कि उसे धर ने किडनैप किया था। धर उस वक्त आईएस के गढ़ रहे ईराक के मोसुल में था। ग्लोबल टेररिस्ट घोषित किए जाने के बाद अब अमरीका में स्थित धर और गनी की प्रॉपर्टी जब्त हो जाएगी और वहां का कोई भी शख्स उनसे किसी तरह का लेन-देन नहीं कर पाएगा। 


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