महाभारत काल में इंटरनेट होने के दावे को लेकर घिरे त्रिपुरा सीएम, वैज्ञानिकों ने मांगा सबूत
punjabkesari.in Thursday, Apr 19, 2018 - 10:55 AM (IST)
अगरतलाः त्रिपुरा के मुख्यमंत्री बिप्लब कुमार देब ने दावा किया कि महाभारत के दिनों में इंटरनेट और अत्याधुनिक उपग्रह संचार प्रणाली मौजूद थी। इसे लेकर उन्हें अलग-अलग हलकों से आलोचनाओं का सामना करना पड़ रहा है। वैज्ञानिकों और शिक्षाविदों ने त्रिपुरा के मुख्यमंत्री बिप्लब देब के महाभारत काल में इंटरनेंट और उपग्रह संचार प्रणाली होने की टिप्पणी की निंदा करते हुए कहा कि इस टिप्पणी का उद्देश्य देश में वैज्ञानिक सोच को कमतर करना था। जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के स्कूल ऑफ कंप्यूटर एंड सिस्टम्स साइंसेज के प्रोफेसर सोनाझरिया मिंज ने कहा कि इंटरनेट के इतिहास की शुरुआत साल 1970 के बाद साल 1980 में वन जी तकनीक आने और 1990 में 2जी आने और 2000 में 3जी आने के साथ शुरू हई। प्रोफेसर ने कहा कि कोई भी टिप्पणी कर सकता है लेकिन इसकी पुष्टि भी करनी चाहिए।
अगर मुख्यमंत्री के पास अपने बयान की पुष्टि करने के स्रोत हैं तो उन्हें इसका खुलासा करना चाहिए और लोगों को शिक्षित करना चाहिए।’’ इसरो के पूर्व प्रमुख जी माधवन नायर ने देब की इस टिप्पणी को ‘विश्वास की कल्पना’ बताया है। उन्होंने कहा कि मान लें कि अगर महाभारत काल में इंटरनेट उपकरण मौजूद थे तो इसके कुछ सबूत भी रहे होंगे। लेकिन इस तरह के सबूत तो हैं नहीं।’’ बता दें कि बिप्लब ने मंगलवार को यहां सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) कंप्यूटरीकरण एवं सुधार से जुड़ी एक क्षेत्रीय कार्यशाला में कहा था कि महाभारत में इस बात का उल्लेख है कि संजय ने नेत्रहीन राजा धृतराष्ट्र को पांडवों और कौरवों के बीच जारी युद्ध का आंखों देखा हाल बयां किया था।
मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘संचार संभव था क्योंकि उस समय हमारी तकनीक अत्याधुनिक और विकसित थी। हमारे पास इंटरनेट एवं उपग्रह संचार प्रणाली थी। ऐसा नहीं है कि महाभारत काल में इंटरनेट या मीडिया मौजूद नहीं था।’’ उन्होंने कहा , ‘‘ मुझे नहीं पता कि मध्य युग, महाभारत काल एवं वर्तमान के बीच क्या हुआ।’’ वहीं उन्होंने अपने रूख का बचाव किया। उन्होंने कहा, ‘‘वे (आलोचक) अपने खुद के देश को कमतर मानते हैं और दूसरे देशों को हमसे आगे आंकते हैं। सच्चाई को मानें। भ्रम में न आएं और दूसरों को भ्रमित न करें।’’ देब ने कहा कि कुछ यूरोपीय देश और अमेरिका दावा करते हैं कि आधुनिक संचार प्रणाली उनका अविष्कार है लेकिन ‘‘प्राचीन युग में हमारे पास सभी तकनीक थीं।’’