भुवनेश्वरः झुग्गी-बस्ती में रहने वाले बच्चों ने Chandrayaan3 की सफलता पर बनाई ''राखी'', देखें Photo
punjabkesari.in Sunday, Aug 27, 2023 - 10:04 PM (IST)

नेशनल डेस्कः चंद्रयान3 ने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर सॉफ्ट लैंडिंग कर इतिहास रच दिया है। इस ध्रुव पर पहुंचने वाला भारत पहला देश है। इस ऐतिहासिक उपलब्धि का पूरे देश में अलग-अलग तरीकों से जश्न मनाया जा रहा है। चंद्रयान3 की चमक सिर्फ एजुकेटेड और अमीर लोगों तक ही सीमित नहीं है। यह उन बच्चों को भी आकर्षित कर रहा है, जिनके माता पिता अपना जीवनयापन करने के लिए सड़क पर प्लास्टिक इकट्ठा करने को मजबूर हैं।
उड़ीसा की राजधानी भुवनेश्वर में एक कला स्कूल है, जिसका नाम ‘आशान्येन’ है। इस स्कूल के छात्रों ने चंद्रयान3 की सफलता की खुशी में पर्यावरण अनुकूल हर्बल राखी बनाना शुरू कर दिया है। प्रत्येक राखी 50 रुपये या उससे अधिक कीमत पर बेची जाती है। स्कूल में 250 से अधिक बच्चे कला का काम सीखते हैं। आशान्येन के संस्थापक रत्नाकर साहू ने कहते हैं कि हर दिन स्कूल खत्म होने के बाद बच्चे हमारी आमा पाठशाला में आते हैं और शाम तक राखी तैयार करते हैं। वर्तमान में 500 से अधिक राखियां बनाई जाती हैं और बिक जाती हैं और पूरा पैसा उनकी शिक्षा पर खर्च हो जाता है।"
साहू ने कहा, "भीख मांगने और कूड़ा बीनने के बजाय बच्चे सम्मानजनक जीवन जी रहे हैं। मैं सभी से अनुरोध करना चाहूंगा कि कृपया उनकी हाथ से बनी राखी खरीदें और इसरो की जीत का जश्न मनाएं और इन बच्चों को सम्मानजनक जीवन जीने में मदद करें।" आशान्येन पिछले 10 वर्षों से भुवनेश्वर में 5 स्थानों पर सामुदायिक शिक्षण केंद्रों में 230 सड़क पर रहने वाले बच्चों के साथ उनकी सुरक्षा, शिक्षा, विकास और पुनर्वास के लिए काम कर रही है। इस वर्ष आमा पाठशाला के केंद्रों से 70 से अधिक बच्चे दिखाई दे रहे हैं जो इसरो वैज्ञानिकों का सम्मान करने और भारतीयों और भारतीय वैज्ञानिकों की इस ऐतिहासिक खुशी को याद रखने के लिए सुंदर चंद्रयान -3 राखी बना रहे हैं।
बच्चे इसे बनाने के लिए विभिन्न प्रकार के अपशिष्ट पदार्थों का उपयोग कर रहे हैं, विशेष रूप से कपास, ऊन, आइसक्रीम स्टिक और कॉर्नफ्लोर पाउडर का उपयोग करके हाथ से बनाई गई मिट्टी। बच्चे इन्हें बाजार में बेचने के अलावा भुवनेश्वर के विभिन्न हिस्सों में हाउसिंग कॉलोनी में भी प्रदर्शित कर रहे हैं और लोग इनकी सराहना कर रहे हैं और इन्हें खरीदने की मांग कर रहे हैं।