Share Market crash: शेयर बाजार में जबरदस्त गिरावट, निवेशकों के एक ही दिन में डुबे 10 लाख करोड़, जानें गिरावट के कारण
punjabkesari.in Friday, Oct 04, 2024 - 09:13 AM (IST)
नेशनल डेस्क: भारतीय शेयर बाजार में आज भारी गिरावट देखने को मिली, जिससे करोड़ों निवेशक चिंतित हैं। निवेशकों के एक दिन में करीब 10 लाख करोड़ रुपए का नुकसान हुआ। सेंसेक्स में 1,769 अंक (2.10 फीसदी) और निफ्टी में 546 अंक (2.12 फीसदी) की गिरावट दर्ज की गई। इस गिरावट का मुख्य कारण ईरान और इजरायल के बीच बढ़ता तनाव, चीन का प्रोत्साहन पैकेज, और फ्यूचर्स एंड ऑप्शंस (एफएंडओ) में बदलाव को माना जा रहा है। इस स्थिति के चलते भारत समेत दुनियाभर के शेयर बाजारों में गिरावट आई है।
बाजार की स्थिति
शेयर बाजार की शुरुआत गिरावट के साथ हुई, जब सेंसेक्स लगभग 800 अंकों की कमी के साथ खुला। अंत में, यह 1,769 अंक गिरकर 82,497 पर बंद हुआ, जबकि निफ्टी 546 अंक गिरकर 25,250.10 पर समाप्त हुआ। यह हफ्ते का तीसरा दिन है जब बाजार में गिरावट आई है। सोमवार को सेंसेक्स में 1,200 से अधिक अंकों की गिरावट आई थी, और मंगलवार को भी इसमें थोड़ी कमी आई थी।
इस हफ्ते गिरावट का आंकड़ा
तारीख | सेंसेक्स अंक |
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27 सितंबर | 85,571 |
30 सितंबर | 84,299 |
1 अक्टूबर | 84,266 |
3 अक्टूबर | 82,497 |
साल की तीसरी सबसे बड़ी गिरावट
दिन | गिरावट (अंक) |
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4 जून | 4,390 |
5 अगस्त | 2,223 |
3 अक्टूबर | 1,769 |
17 जनवरी | 1,628 |
गिरावट के कारण
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ईरान-इजराइल तनाव: ईरान और इजराइल के बीच बढ़ता तनाव बाजार पर भारी पड़ा है। ईरान ने इजराइल पर बैलिस्टिक मिसाइल से हमला किया है, जिसके चलते इजराइल ने लेबनान में भी हमले तेज कर दिए हैं। इससे निवेशकों में डर का माहौल है।
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कच्चे तेल की कीमतें: तनाव के कारण कच्चे तेल की कीमतें 75 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गई हैं। अगर इजराइल ईरान के ऑयल फील्ड्स को निशाना बनाता है, तो इससे कई देशों में ऑयल की सप्लाई पर असर पड़ेगा, जिससे महंगाई बढ़ने की आशंका है।
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चीन का प्रोत्साहन पैकेज: भारतीय निवेशक चीनी शेयरों के फिर से उभरने को लेकर चिंतित हैं। पिछले हफ्ते चीनी सरकार द्वारा आर्थिक प्रोत्साहन की घोषणा के बाद विश्लेषकों ने चीनी शेयरों में तेजी की भविष्यवाणी की है। इसके चलते विदेशी निवेशक भारतीय शेयर बाजार से पैसा निकालकर चीनी बाजार में निवेश कर रहे हैं।
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एफएंडओ पर सेबी के कदम: सेबी ने फ्यूचर्स एंड ऑप्शंस (एफएंडओ) को लेकर नियमों में बदलाव किया है। नए नियमों के तहत, 20 नवंबर से कॉन्ट्रैक्ट साइज के नियम लागू होंगे, और हर एक्सचेंज में एक हफ्ते में केवल एक वीकली एक्सपायरी होगी। इससे बाजार पर नकारात्मक प्रभाव पड़ा है.