परीक्षा की टेंशन को कहें अलविदा, बाबा रामदेव के उपायों से पाएं शांति और सफलता!
punjabkesari.in Tuesday, Feb 11, 2025 - 12:41 PM (IST)
नेशनल डेस्क: परीक्षाओं के दौरान बच्चों में बढ़ता तनाव और डर एक गंभीर समस्या बन चुका है, जिसे अब समाज और शिक्षक भी समझने लगे हैं। बच्चों के लिए यह डर अक्सर उनके स्कूल के पहले बोर्ड एग्जाम से शुरू होता है, जब वे अच्छे अंक पाने के दबाव में होते हैं। इस दौरान बच्चों को लगता है कि अगर वे अच्छे अंक नहीं लाएंगे, तो उनके जीवन की दिशा प्रभावित हो सकती है। यही कारण है कि बच्चे परीक्षा से पहले मानसिक दबाव में आ जाते हैं और कई बार उनका आत्मविश्वास भी कमजोर पड़ जाता है।
इस प्रकार के मानसिक दबाव के बीच, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बच्चों से कई बार संवाद किया है, जिनमें उन्होंने बच्चों को यह संदेश दिया कि जीवन की असली सफलता अंक और परीक्षा में नहीं, बल्कि खुद के आत्मविश्वास और मेहनत में होती है। प्रधानमंत्री का कहना है कि बच्चों को खुद से प्रतिस्पर्धा करनी चाहिए, न कि दूसरों से। जब बच्चे अपनी क्षमता पर विश्वास करते हैं और खुद से बेहतर करने का प्रयास करते हैं, तो वे आत्मविश्वासी होते हैं और तनाव कम होता है।
वहीं, योगगुरु बाबा रामदेव का मानना है कि बच्चों को योग और मेडिटेशन का नियमित अभ्यास करना चाहिए, जिससे उनका मानसिक स्वास्थ्य बेहतर रहता है और वे परीक्षा के दौरान होने वाले तनाव से आसानी से निपट सकते हैं। बाबा रामदेव के अनुसार, योग न केवल शरीर के लिए अच्छा है, बल्कि यह मानसिक शांति भी प्रदान करता है। इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि परीक्षा में सफलता पाने के लिए बच्चों को सही आहार भी लेना चाहिए, ताकि उनका शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य दोनों अच्छे रहें।
बाबा रामदेव ने बच्चों के लिए कुछ विशेष आहार की सिफारिश की है, जो उनके दिमागी स्वास्थ्य और ब्रेन पावर को बढ़ाते हैं। साथ ही, उन्होंने बच्चों को यह भी सलाह दी है कि वे परीक्षा से पहले अपने दिमाग को शांत और आत्मविश्वासी बनाए रखें।
परीक्षा का डर (एग्जाम फोबिया)
- चिड़चिड़ापन: बच्चों में गुस्सा और चिड़चिड़ापन बढ़ जाता है, जिससे वे आसानी से नाराज हो जाते हैं।
- गुस्सा: छोटी-छोटी बातों पर गुस्सा आना, जो पहले नहीं आता था।
- घबराहट: बच्चों को लगता है कि वे परीक्षा में फेल हो जाएंगे, इस डर के कारण वे घबराए रहते हैं।
- हताशा: बच्चों को लगता है कि अब वे कुछ नहीं कर सकते, जिससे उनमें निराशा बढ़ जाती है।
- कंसंट्रेशन प्रॉब्लम: पढ़ाई के दौरान ध्यान केंद्रित करने में परेशानी आना।
- पढ़ी हुई चीजें भूलना: बच्चे पढ़ाई की सामग्री भूल जाते हैं, जिसका परिणाम परीक्षा में हो सकता है।
- परीक्षा से बचने की कोशिश: बच्चे परीक्षा को लेकर बचने का प्रयास करते हैं, और कभी-कभी पूरी तरह से परीक्षा से भागने की सोचते हैं।
- नेगेटिव सोच: बच्चों के मन में नकारात्मक विचार आना कि वे परीक्षा में असफल होंगे।
जानिए क्या है परीक्षा फोबिया के कारण
- परीक्षा और रिजल्ट का दबाव: बच्चों पर अधिक अंक प्राप्त करने का दबाव होता है, जिससे वे तनाव महसूस करते हैं।
- परीक्षा की तैयारी ठीक से न होना: जब बच्चे पूरी तरह से तैयारी नहीं कर पाते, तो उन्हें डर और घबराहट महसूस होती है।
- रिवीजन की कमी: अगर बच्चे रिवीजन नहीं करते, तो उनका आत्मविश्वास कमजोर हो जाता है।
- आत्मविश्वास की कमी: आत्मविश्वास की कमी के कारण बच्चे परीक्षा के प्रति डर महसूस करते हैं और उनका प्रदर्शन प्रभावित होता है।
परीक्षा में सफलता के लिए पीएम मोदी के सुझाव
प्रधानमंत्री मोदी ने बच्चों को हमेशा यह सलाह दी है कि वे अपनी पढ़ाई और तैयारी पर विश्वास रखें और खुद से प्रतियोगिता करें। उनका कहना है, "दूसरों से नहीं, खुद से मुकाबला करो।" उन्होंने यह भी कहा कि बच्चों को अपनी पढ़ाई के साथ-साथ शारीरिक गतिविधियों, खेल, और अन्य मनोरंजन का भी ध्यान रखना चाहिए। इससे शरीर और दिमाग दोनों स्वस्थ रहते हैं, जो परीक्षा में सफलता के लिए जरूरी हैं। पीएम मोदी ने यह भी सुझाव दिया कि बच्चों को समय का सही प्रबंधन करना चाहिए और तकनीकी ज्ञान पर भी ध्यान देना चाहिए, क्योंकि ये चीजें उनके भविष्य के लिए फायदेमंद होती हैं।
बच्चों के लिए सुपरफूड्स
बच्चों के मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य के लिए सही आहार जरूरी होता है। बाबा रामदेव ने बच्चों के लिए कई सुपरफूड्स की सिफारिश की है, जो उनकी दिमागी पावर और शारीरिक शक्ति को बढ़ाते हैं:
1. दूध: कैल्शियम और प्रोटीन से भरपूर, जो हड्डियों और दिमाग के विकास में मदद करता है।
2. ड्राई फ्रूट्स: बादाम, अखरोट आदि ब्रेन पावर को बढ़ाने में मदद करते हैं।
3. ओट्स: ओट्स का सेवन शरीर के लिए फायदेमंद होता है और दिमाग को ताकत देता है।
4. बींस: प्रोटीन और फाइबर से भरपूर, जो दिमाग और शरीर दोनों के लिए फायदेमंद है।
5. शकरकंद: विटामिन और मिनरल्स से भरपूर, जो बच्चों के स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद करता है।
6. मसूर की दाल: प्रोटीन और आयरन का अच्छा स्रोत है, जो शरीर और दिमाग दोनों के लिए आवश्यक है।
बच्चों का डाइट चार्ट
बच्चों को एक संतुलित आहार देना जरूरी है, ताकि उनका शारीरिक और मानसिक विकास सही तरीके से हो सके। बच्चों का डाइट चार्ट इस प्रकार होना चाहिए:
- 1 कटोरी दाल दिन में जरूर लें।
- 2 कटोरी सब्जी और 1 कटोरी फल का सेवन करें।
- 500 मिलीलीटर दूध रोजाना पीने के लिए दें।
ब्रेन पावर बढ़ाने के उपाय:
बच्चों की ब्रेन पावर को बढ़ाने के लिए बाबा रामदेव ने कुछ विशेष उपाय बताए हैं:
- 5 बादाम और 5 अखरोट को पानी में भिगोकर अच्छे से पीसें।
- इसके बाद इस मिश्रण में ब्राह्मी और शंखपुष्पी मिलाकर बच्चों को पिलाएं। ये दोनों औषधियाँ मानसिक क्षमता बढ़ाने में सहायक होती हैं।