राजस्थान विधानसभा में कांग्रेस नेता के टिप्पणी से गूंजा सदन, कहा- राज और बीवी आने के बाद जाने नहीं चाहिए
punjabkesari.in Saturday, Jul 20, 2024 - 05:23 PM (IST)
राजस्थान : राजस्थान विधानसभा में बजट सत्र के दौरान कई मुद्दों पर जोरदार हंगामा हो रहा है, लेकिन कुछ घटनाएं ऐसी भी हैं जो सदन में ठहाकों की गूंज पैदा कर देती हैं। आज सदन में एक ऐसा ही मजेदार वाकया हुआ। कांग्रेस के वरिष्ठ विधायक श्रवण कुमार चौधरी ने कहा, "राज और बीवी आने के बाद जाने नहीं चाहिए।" उन्होंने आगे कहा, "जिसकी बीवी भाग जाए, समझो वह खुद कमजोर है और जिसका राज चला जाए, वह भी खुद कमजोर है।"
इस टिप्पणी पर सदन में जोरदार ठहाके लगे
झुंझुनूं के सूरजगढ़ से विधायक श्रवण कुमार चौधरी की इस टिप्पणी पर सदन में जोरदार ठहाके लगे। संसदीय कार्य मंत्री जोगाराम पटेल ने मजाक करते हुए कहा, "आपका अनुभव परफेक्ट है।" इस पर श्रवण कुमार ने जवाब दिया, "मुझे देखते-देखते इतने साल हो गए। यहां एक बार तुम और एक बार हम नहीं होना चाहिए। पहले लेफ्ट हैंड की गाड़ियां थीं, अब राइट हैंड की हैं। गाड़ी तो वही है, बदला क्या?" इस मजेदार बातचीत ने सदन में हंसी का माहौल बना दिया और विधायकों के ठहाकों से विधानसभा गूंज उठी।
बाहरी राज्यों के कुलपति विश्वविद्यालयों में घोटाले कर रहे
इससे पहले, विधायक श्रवण चौधरी ने सदन में आरोप लगाया कि बाहरी राज्यों के कुलपति राजस्थान के विश्वविद्यालयों में घोटाले कर रहे हैं। उन्होंने सवाल उठाया कि बाहर के प्रदेशों से यहां कुलपति क्यों लाए जा रहे हैं। क्या राजस्थान में कुलपति बनने लायक लोग नहीं हैं? उन्होंने कहा कि राजस्थान के विश्वविद्यालयों में प्रदेश के ही कुलपति होने चाहिए ताकि किसी भी गड़बड़ी का आसानी से पता लगाया जा सके।
दोषी कुलपतियों को संरक्षण क्यों दिया जा रहा है
वहीं RLD विधायक सुभाष गर्ग ने भी सदन में सवाल उठाया कि दोषी कुलपतियों को संरक्षण क्यों दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि दोषी कुलपतियों पर कार्रवाई होनी चाहिए और पूरी व्यवस्था में सुधार किया जाना चाहिए। गर्ग ने आरोप लगाया कि किसी भी विश्वविद्यालय में जाएं, आपको गड़बड़ियां मिलेंगी। यह किसी पार्टी का सवाल नहीं है।उन्होंने आगे कहा कि विश्वविद्यालयों में कुलपति मनमानी कर रहे हैं और अधिकांश कुलपति उत्तर प्रदेश से आते हैं। हम लोग तो फेल हो गए और विश्वविद्यालयों को नहीं सुधार पाए, लेकिन सत्ता पक्ष को इसे सुधारना चाहिए। फर्जी डिग्री के मामले में पूर्व सरकार ने कई विश्वविद्यालयों को ब्लैकलिस्ट किया था और अब फर्जी विश्वविद्यालयों को बंद किया जाना चाहिए।