कमलनाथ का 'राजनीतिक सफर' एक नजर में

punjabkesari.in Friday, Dec 14, 2018 - 05:42 AM (IST)

नई दिल्ली: मध्य प्रदेश के अगले मुख्यमंत्री के रूप में कमलनाथ के नाम पर मुहर लग गई। लगातार तीन दिन तक कई दौर की बैठकों के बाद कांग्रेस हाईकमान के कमनाथ के नाम पर मुहर लगाई। महज सात महीने पहले उन्होंने मध्य प्रदेश कांग्रेस का प्रभार संभाला और इसके बाद राष्ट्रीय स्वयंसेवक के गढ़ और हिंदुत्व की राजनीति के केंद्र रहे मध्य प्रदेश में नरेंद्र मोदी-अमित शाह की रणनीति के साथ साथ लोकलुभावन नीतियों के चलते बेहद लोकप्रिय शिवराज सिंह चौहान को सत्ता से बाहर किया।
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26 अप्रैल, 2018 को मध्य प्रदेश का प्रभार संभालने के बाद जब कमलनाथ ने भोपाल में अपना डेरा डाला तो सबसे पहले उन्होंने पार्टी कार्यालय की सूरत संवारी। नए सिरे से इमारत का रंग रोगन हुआ और साथ में संजय गांधी की तस्वीर भी लगवाई। संजय गांधी कमलनाथ के करीबी मित्र थे। मध्य प्रदेश के चुनाव में क़रीब तीन चौथाई संसाधनों की व्यवस्था कमलनाथ ने ही जुटाई।

PunjabKesariकमलनाथ को पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी अपना तीसरा बेटा मानती थीं। 1979 में मोरारजी देसाई की सरकार से मुकाबले में इंदिरा के मददगार कमलनाथ अब उनके पोते राहुल गांधी के लिए भी दमदार साबित हुए हैं। लोकसभा में कमलनाथ नौ बार सांसद, केंद्रीय मंत्री के रूप में संसदीय कार्य, शहरी विकास जैसे अहम विभाग संभाल चुके हैं। 
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72 वर्षीय कमलनाथ का जन्म उत्तर प्रदेश के कानपुर में हुआ था। उनके पिता का नाम महेंद्रनाथ और माता का लीला है। कमलनाथ देहरादून स्थित दून स्कूल के छात्र रहे हैं। राजनीति में आने से पहले उन्होंने सेंट जेवियर कॉलेज कोलकाता से स्नातक किया। 


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shukdev

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