अगर युद्ध हुआ तो पाकिस्तान की खैर नहीं, ये 5 आतंकी ठिकाने हो सकते हैं तबाह
punjabkesari.in Wednesday, Apr 30, 2025 - 04:30 PM (IST)

नेशनल डेस्क : 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहल्गाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव चरम पर है। इस हमले के बाद भारत अब कड़ी कार्रवाई की तैयारी में है। पाकिस्तान में मौजूद आतंक के ठिकानों की पहचान कर उन्हें टारगेट किया जा सकता है।
हाफिज सईद भारत के निशाने पर, लाहौर में सक्रियता बढ़ी-
लश्कर-ए-तैयबा के सरगना और 26/11 मुंबई हमले के मास्टरमाइंड हाफिज सईद को भारत की टारगेट लिस्ट में सबसे ऊपर माना जा रहा है। उसका मुख्यालय मुरिदके, पंजाब (पाकिस्तान) में है, लेकिन हाल ही में लाहौर में उसके गुप्त ठिकानों का पता चलने के बाद हलचल बढ़ गई है। माना जा रहा है कि भारत की संभावित सैन्य कार्रवाई में सईद के अड्डे निशाने पर हो सकते हैं।
मसूद अजहर और जैश-ए-मोहम्मद के ठिकानों पर भी नजर-
जैश-ए-मोहम्मद के प्रमुख मसूद अजहर को पुलवामा हमले का मास्टरमाइंड माना जाता है। जैश के ट्रेनिंग कैंप पाकिस्तान के बहावलपुर, रावलकोट और कोटली जैसे क्षेत्रों में सक्रिय हैं। 2019 में भारत ने बालाकोट में जैश के एक कैंप को निशाना बनाया था। एक बार फिर ऐसे शिविरों को खत्म करने की योजना बन सकती है।
ISI और पाक सेना की भूमिका पर बढ़ी निगरानी-
पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI को भारत में आतंक फैलाने का मुख्य मास्टरमाइंड माना जाता है। इसका हेडक्वार्टर इस्लामाबाद में है, जहां से आतंकी संगठनों को मदद मिलती है। साथ ही, पाकिस्तान सेना प्रमुख जनरल आसिम मुनीर भी भारत की रडार पर हैं। वह पहले ISI प्रमुख रह चुके हैं और उन पर भारत विरोधी गतिविधियों में शामिल होने के आरोप हैं।
पीओके में 17 ट्रेनिंग कैंप और 37 लॉन्च पैड सक्रिय-
भारत की खुफिया रिपोर्ट के मुताबिक, पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (PoK) में लश्कर, जैश और अन्य आतंकी संगठनों के 17 ट्रेनिंग कैंप और 37 लॉन्च पैड मौजूद हैं। ये शिविर भारत में घुसपैठ और आतंकी हमलों के लिए आतंकियों को तैयार करते हैं। रावलकोट और कोटली जैसे क्षेत्र इनके गढ़ माने जाते हैं।
भारत कर सकता है सीमापार सर्जिकल स्ट्राइक जैसी कार्रवाई-
सूत्रों के अनुसार, भारत अब सिर्फ निंदा नहीं बल्कि ठोस जवाब देने की तैयारी में है। यह संभव है कि पहले से चिह्नित ठिकानों पर सीमापार कार्रवाई की जाए, जैसा 2016 में उरी हमले के बाद हुआ था। इस बार भी सर्जिकल स्ट्राइक या एयरस्ट्राइक जैसे एक्शन की संभावनाओं से इनकार नहीं किया जा सकता।