ब्रिटेन में हवाई अड्डों पर सिखों से पूछे जा रहे खालिस्तान और निज्जर की हत्या पर सवाल, बढ़ी चिंताएं

punjabkesari.in Wednesday, Dec 18, 2024 - 02:46 PM (IST)

London: ब्रिटेन में बसे सिख समुदाय के लोग हाल ही में हवाई अड्डों और बंदरगाहों पर हो रही पूछताछ को लेकर चिंता व्यक्त कर रहे हैं। उन्हें भारत, खालिस्तान, और सिख धर्म से जुड़े सवालों का सामना करना पड़ रहा है। यह कार्रवाई "आतंकवाद अधिनियम 2000"  की अनुसूची 7 के तहत हो रही है, जिसमें सुरक्षा अधिकारियों को यात्रियों से पूछताछ करने का अधिकार है। ब्रिटिश लेबर पार्टी की सांसद  प्रीत कौर गिल ने इस मुद्दे को गंभीर बताते हुए गृह सचिव  यवेटे कूपर को पत्र लिखा है। उन्होंने कहा कि सिख समुदाय के कई सदस्यों को बिना किसी ठोस कारण के घंटों रोका जा रहा है। प्रीत गिल ने एक घटना का हवाला दिया, जिसमें एक सिख व्यक्ति को मैनचेस्टर एयरपोर्ट पर तुर्की से छुट्टियों के बाद लौटने पर घंटों रोका गया। उससे भारत, पंजाब, और खालिस्तान समर्थक नेता हरदीप सिंह निज्जर की हत्या से जुड़े सवाल पूछे गए।  

 

 पूछे जा रहे सवालों की प्रकृति 


सिख समुदाय के सदस्यों से बेहद संवेदनशील और व्यक्तिगत सवाल किए जा रहे हैं, जैसे:  

  • -  क्या आप खालिस्तान का समर्थन करते हैं?  
  • -  भारत की राजनीति और नीतियों पर आपकी राय क्या है?   
  • -  निज्जर की हत्या पर आपकी सोच क्या है? 
  • -  सिख धर्म और इतिहास पर आपके विचार क्या हैं? 

इसके अलावा, पूछताछ के दौरान मोबाइल फोन और सोशल मीडिया अकाउंट्स के पासवर्ड मांगे जा रहे हैं।  
 

समुदाय में असुरक्षा का माहौल 
सांसद प्रीत गिल ने सरकार से इस प्रक्रिया की पारदर्शिता सुनिश्चित करने और किसी भी समुदाय को निशाना बनाने से बचने का अनुरोध किया है। उन्होंने कहा कि यह कदम सिख समुदाय के लोगों को असुरक्षित और अपमानित महसूस करवा रहा है। ब्रिटेन में सिख कार्यकर्ता परमजीत सिंह  ने आरोप लगाया कि इन पूछताछ में वकीलों को शामिल करने की अनुमति नहीं दी जा रही, जो मानवाधिकारों का उल्लंघन है।  

 
खंडा और निज्जर की मौत का प्रभाव 
ब्रिटेन में सिख कार्यकर्ता अवतार सिंह खंडा  की जून 2024 में संदिग्ध परिस्थितियों में मौत और कनाडा में खालिस्तान समर्थक नेता हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के बाद सिख समुदाय की गतिविधियों पर विशेष नजर रखी जा रही है।  कंजर्वेटिव सांसद नील ओ'ब्रायन  ने भी खंडा की मौत की जांच की मांग की थी। खंडा ने अपनी मौत से पहले कहा था कि पंजाब में उनके परिवार को धमकियां मिल रही हैं।  

सिख समुदाय की अपील  
सिख समुदाय ने ब्रिटिश सरकार से अपील की है कि आतंकवाद विरोधी कानून का दुरुपयोग न हो और जांच प्रक्रिया पारदर्शी हो।  सोशल मीडिया पर भी इस मुद्दे को लेकर बहस जारी है। कई लोग इसे मानवाधिकारों का उल्लंघन मानते हुए इसे रोकने की मांग कर रहे हैं।  ब्रिटिश सिखों का कहना है कि ऐसे व्यवहार से उनकी सुरक्षा और नागरिक अधिकार खतरे में हैं।  


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Content Writer

Tanuja

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