एक दिन स्थगन के बाद शुरू हुई अमरनाथ यात्रा, अब तक 1.74 लाख श्रद्धालुओं ने किए बाबा बर्फानी के दर्शन

punjabkesari.in Sunday, Jul 14, 2019 - 12:19 PM (IST)

श्रीनगर: जम्मू-कश्मीर में अमरनाथ तीर्थयात्रा में अब तक 1.74 लाख से अधिक यात्रियों ने पवित्र अमरनाथ गुफा में बाबा बफार्नी के दर्शन किए है। यात्रा अधिकारी ने कहा कि पारंपरिक पहलगाम और करीबी मार्ग वाले बालटाल दोनों मार्गों पर यात्रा रविवार को सुचारू रूप से जारी है। जम्मू के भगवती नगर से यात्रा एक दिन स्थगित रहने के बाद रविवार की सुबह फिर से शुरू हो गई। डोगरा शासनकाल में श्रीनगर स्थित केंद्रीय कारागार के सामने 13 जुलाई 1931 को 22 कश्मीरियों के मारे जाने की बरसी के मौके पर अलगाववादियों के आहूत हड़ताल को देखते हुए शनिवार को जम्मू से यात्रा स्थगित कर दी गई थी।
PunjabKesari
आधिकारिक प्रवक्ता ने बताया कि एक जुलाई को तीर्थयात्रा शुरू होने से लेकर अब तक 1.74 श्रद्धालुओं ने पवित्र शिवलिंग के दर्शन कर लिए हैं। अमरनाथ तीर्थयात्रा का समापन 15 अगस्त को श्रावण पूर्णिमा (रक्षा बंधन) के दिन होगा। उन्होंने बताया कि पारंपरिक पहलगाम और छोटा मार्ग बालटाल दोनों ही मार्गों से यात्रा सुचारू रूप से जारी है। उन्होंने बताया कि शनिवार को 17000 यात्रियों ने के बाबा बफार्नी के दर्शन किये। रात्रि विश्राम के बाद आज सुबह से अब तक विभिन्न मार्गों से 2000 यात्रियों एवं श्रद्धालुओं ने शिव हिमलिंग के दर्शन किए। इसके अलावा विभिन्न जत्थे पवित्र अमरनाथ गुफा की ओर रवाना हो चुके हैं तथा शाम तक और यात्रियों के भी पवित्र गुफा में पहुंचने की उम्मीद है।
PunjabKesari
इस बीच साधुओं एवं साध्वियों समेत श्रद्धालुओं का नया जत्था जम्मू के भगवती नगर से मध्य कश्मीर के गंदेरबल जिले में स्थित बालटाल तथा अनंतनाग के नुनवान पहलगाम स्थित आधार शिविरों के लिए अलग-अलग मार्गों से रवाना हुआ। ‘हर हर महादेव' और ‘बम बम भोले' के जयकारों के साथ महिलाओं, बच्चों और साधुओं सहित तीर्थयात्रियों का नया जत्था नुनवान पहलगाम आधार शिविर से पारंपरिक यात्रा मार्ग पर वाहनों के अंतिम पड़ाव स्थल चंदनवारी के लिए रवाना हुआ। चंदनवारी सहित विभिन्न स्टेशनों पर रात्रि ठहराव करने वाले तीर्थयात्री आज सुबह अगले शिविरों के लिए रवाना हुए। उन्होंने कहा कि बालटाल आधार शिविर से तीर्थयात्रियों के नया जत्था आज सुबह तड़के पवित्र गुफा के लिए रवाना हो गया।
PunjabKesari
उन्होंने कहा कि महिलाओं, बच्चों और साधुओं सहित तीर्थयात्रियों का यह जत्था पैदल दूरी तय करने के बाद पवित्र गुफा में पहुंचेगा। इस बीच सदियों पुरानी परंपरा के मुताबिक ‘भूमिपूजन', ‘नवग्रह पूजन' और ‘ध्वजारोहण' ( जो भगवान शिव से जुड़ी पवित्र ‘छड़ी मुबारक' की वार्षिक पूजा से जुड़े हुए हैं) के लिए ‘अषाढ़ पूर्णिमा' के मौके पर 16 जुलाई को पहलगाम में समारोह का आयोजन किया जाएगा। इसके लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। इस बीच हेलिकॉप्टर सेवा भी दोनों ओर से सामान्य रूप से चल रही है। उन्होंने कहा कि अधिकतर तीर्थयात्री बालटाल मार्ग से लौट रहे हैं, जिसमें पहलगाम के रास्ते तीर्थयात्रा करने वाले तीर्थयात्री भी शामिल हैं। कुछ तीर्थयात्री घर जाने से पहले गुलमर्ग, सोनमर्ग और पहलगाम सहित डल झील और अन्य पर्यटन स्थलों की यात्रा का भी आनंद उठा रहे हैं।
PunjabKesari


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Seema Sharma

Recommended News

Related News