Video: 2 घंटे बाढ़ में फंसी रही प्रसव पीड़िता, समय रहते नहीं मिली मदद, हो गई दर्दनाक मौत

punjabkesari.in Tuesday, Jul 15, 2025 - 09:43 AM (IST)

नेशनल डेस्क। मध्य प्रदेश के विंध्य क्षेत्र में सड़कों की बदहाली का एक और दिल दहला देने वाला मामला सामने आया है। रामपुर की लीला साहू के गांव की सड़क का मुद्दा अभी सुलझा भी नहीं था कि सोमवार को रीवा में डिलीवरी के लिए अस्पताल जा रही एक गर्भवती महिला (प्रसूता) की रास्ते में दर्द से तड़पकर मौत हो गई। बताया जाता है कि महिला को ले जा रहा वाहन मूसलाधार बारिश की वजह से उफनती नदी पार नहीं कर पाया।

यह दर्दनाक घटना रीवा जिले के तराई अंचल के जवा बरहटा गाँव की है। जवा तहसील में इन दिनों मूसलाधार बारिश ने तबाही मचा रखी है। भनिगंवा क्षेत्र में हालात बद से बदतर हो गए हैं जहाँ नदी-नाले उफान पर हैं। ऐसी ही उफनती नदी में एक प्रसूता का वाहन करीब 2 घंटे तक फंसा रहा और बिना उपचार के ही उसकी तड़प-तड़पकर मौत हो गई।

 

महना नदी के उफान में फंसी रही गर्भवती महिला

मिली जानकारी के अनुसार भनिगंवा गाँव की रहने वाली प्रिया रानी कोल की गर्भावस्था के दौरान अचानक तबीयत बिगड़ गई। परिजन उसे जवा अस्पताल लेकर जा रहे थे। इसी दौरान रास्ते में महना नदी का उफान इतना तेज़ था कि उनका वाहन आगे नहीं बढ़ पाया। करीब दो घंटे तक प्रिया रानी कोल नदी के एक तरफ ही अटकी रही और दर्द से तड़पती रही। इस दौरान गाँव के ही एक झोला छाप डॉक्टर को बुलाकर लाया गया जिसने अंततः प्रसूता के मृत होने की पुष्टि कर दी।

परिजनों ने बताया कि प्रिया रानी का पहले से एक बेटा है। सोमवार को अचानक प्रिया को प्रसव पीड़ा हुई जिसके बाद घरवाले उसे अस्पताल लेकर जाने लगे। हालाँकि बाढ़ के चलते अस्पताल पहुँचने में काफ़ी दिक्कतें आईं और तबीयत ज़्यादा खराब होने से प्रिया रानी की मौत हो गई।

 

40 किलोमीटर का चक्कर लगाकर लाया गया शव, ग्रामीणों में आक्रोश

प्रिया के ससुर ने बताया कि बाढ़ के चलते नदी में उफान आने के कारण परिवार को करीब 40 किलोमीटर का अतिरिक्त चक्कर काटना पड़ा ताकि महिला के शव को मायके से ससुराल लाया जा सके जहाँ उसका अंतिम संस्कार किया गया।

इस घटना के बाद ग्रामीणों में प्रशासन के खिलाफ़ भारी आक्रोश है। ग्रामीणों का कहना है कि हर साल बारिश में उन्हें इस तरह की समस्या से जूझना पड़ता है। बावजूद इसके, प्रशासन उन्हें ज़रूरी सुविधाएँ, खासकर अच्छी सड़कें और पुल मुहैया नहीं करा पा रहा है। यह घटना एक बार फिर ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं और बुनियादी ढाँचे की कमी को उजागर करती है।


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Content Editor

Rohini Oberoi

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