भगोड़े आर्थिक अपराधियों पर मोदी सरकार कसेगी नकेल, जी-20 में पेश किया 9 सूत्रीय फॉर्मूला

Saturday, Dec 01, 2018 - 12:35 PM (IST)

ब्यूनस आयर्सः  प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को कहा कि विश्व आतंकवाद और कट्टरपंथ की बड़ी चुनौतियों का सामना कर रहा है। ब्रिक्स और जी-20 देशों के साथ मिलकर काम करने को रेखांकित करते हुए उन्होंने संयुक्त राष्ट्र के आतंकरोधी ढांचे को मजबूत बनाने पर जोर दिया, ताकि आतंकवादियों के नेटवर्क, वित्तपोषण और गतिविधियों पर लगाम लगाई जा सके। अर्जेंटीना में जी-20 सम्मेलन के इतर ब्रिक्स देशों के नेताओं की औपचारिक बैठक को संबोधित करते हुए उन्होंने आर्थिक अपराधियों और भगोड़ों के खिलाफ, जो वैश्विक आर्थिक स्थिरता के लिए बड़ा खतरा पैदा कर रहे हैं, भी मिलकर काम करने को कहा। इसके बाद दूसरे सत्र में अंतरराष्ट्रीय व्यापार, अंतरराष्ट्रीय वित्तीय और कर प्रणाली पर पीएम मोदी ने एक नौ सूत्रीय फॉर्मूला प्रस्तुत किया। इसमें उन्होंने भगोड़े आर्थिक अपराधियों के खिलाफ कार्रवाई करने के बारे में विचार रखे।

उन्होंने कहा ,"हम सब इस पर सहमत हैं कि आतंकवाद और कट्टरपंथ सबसे बड़ी चुनौतियां हैं, जिनका विश्व आज सामना कर रहा है। ये केवल शांति और सुरक्षा के लिए ही खतरा नहीं हैं, बल्कि आर्थिक विकास के लिए भी चुनौती हैं।" उन्होंने ब्रिक्स और जी-20 समेत सभी देशों से फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (एफटीए) के मानकों और संयुक्त राष्ट आतंकरोधी ढांचे को मजबूत बनाने का आग्रह किया, ताकि आतंकवादियों के नेटवर्क, उनके वित्त पोषण और गतिविधियों की रोकथाम की जा सके। जी-7 देशों की पहल पर धनशोधन के खिलाफ लड़ाई में नीतियों का निर्माण करने के लिए 1989 में अंतरसरकारी संगठन एफएटीएफ की स्थापना की गई।

प्रधानमंत्री मोदी का आतंकवाद से लड़ाई को लेकर दिया गया यह बयान महत्वपूर्ण है, क्योंकि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में पाकिस्तान स्थित जैश-ए-मुहम्मद प्रमुख मौलाना मसूद अजहर को वैश्विक आतंकी घोषित कराने के भारत के प्रयासों को चीन ने बार-बार अवरुद्ध किया है। मोदी ने कहा कि वैश्वीकरण ने लाखों लोगों को गरीबी से बाहर निकाला है, लेकिन हम वैश्वीकरण के लाभों के समान वितरण की चुनौतियों का सामना कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि राष्ट्रों का संरक्षणवाद बढ़ रहा है और मुद्रा अवमूल्यन और तेल की कीमतों में वृद्धि ने पिछले कुछ वर्षों में अर्जित लाभ को खत्म कर दिया है। उन्होंने कहा कि हालांकि अभी भी विश्व की जीडीपी में ब्रिक्स देशों की हिस्सेदारी (23 फीसदी) बढ़ाने और व्यापार (16 फीसदी) में बढ़ोत्तरी की बेहद संभावनाएं हैं। ब्रिक्स देश वैश्विक स्थिरता और विकास में सहयोग दे रहे हैं। हमने दुनिया की अर्थव्यवस्था और राजनीतिक ढांचे को स्वरूप प्रदान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।

ट्रम्प ने ब्यूनस आयर्स में हस्ताक्षर समारोह में कहा, "यह एक आदर्श समझौता है, जिससे व्यापार का परिदृश्य हमेशा के लिए बदल जाएगा।" यह परिदृश्य रूस के लिए ज्यादा असंतुलित था। रूस द्वारा यूक्रेन के जहाजों और नाविकों को बंधक बनाए जाने की हाल की घटना का हवाला देकर ट्रम्प द्वारा पूर्वनियोजित बैठक अचानक रद्द कर दी थी, लेकिन चीन के साथ व्यापार युद्ध शुरू करने के बाद भी वह शनिवार को राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ बैठक करेंगे। 

प्रधानमंत्री मोदी के अलावा बैठक में चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग, रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन, दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति सी रामफोसा, ब्राजील के राष्ट्रपति माइकल तिमेर उपस्थित थे। शिखर सम्मेलन के उद्घाटन सत्र के दौरान रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और सऊदी शहजादे बिन सलमान ने एक-दूसरे से हाथ मिलाया।  

फ्रांसीसी राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों और ब्रिटिश प्रधानमंत्री टेरेसा मे ने कहा कि वे सम्मेलन से इतर शहजादे के साथ मुलाकात में पत्रकार जमाल खशोगी की हत्या का मुद्दा उठाएंगे। उन्होंने अमेरिकी राष्ट्रपति डोलाल्ड ट्रम्प पर परोक्ष हमला करते हुए प्रतिबंधों और व्यापार संरक्षणवाद के इस्तेमाल को लेकर उनकी निंदा की। इससे पहले गुरुवार को ट्रम्प ने पुतिन के साथ एक द्विपक्षीय बैठक रद्द कर दी थी। गौरतलब है कि यूक्रेन के साथ रूसी नौसेना की हाल ही में झड़प हुई थी।
      
    

Pardeep

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