चीन में जबरन अंग निकालने का कारोबार बढ़ा, एक और गवाह आया सामने

punjabkesari.in Saturday, Jul 02, 2022 - 01:03 PM (IST)

बीजिंगः चीन पर अक्सर मानवीय अंगों  के व्यापार का आरोप लगता रहा है। लेकिन एक और गवाह के सामने आने से उसकी इस क्रूर गतिविधि की पुष्टि हो गई है। चीन में ‘जबरन अंग काटने के धंधा तेजी  से फल-फूल रहा है। हाल के दशकों में चीनी अधिकारियों ने अपने देश में तेजी से बढ़ते अंग प्रत्यारोपण उद्योग का दावा किया है। मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, उनका दावा है कि यह उद्योग जल्द ही अमेरिका के चिकित्सा उद्योग को पीछे छोड़ देगा। लेकिन इस क्षेत्र में अग्रणी विशेषज्ञों द्वारा बड़ी संख्या में किए गए शोध में उजागर हो रहा है कि चीन के प्रत्यारोपण उद्योग में इसका बहुत गहरा, भयावह और अक्सर अवैध पक्ष शामिल है।

 

रिपोर्टों के अनुसार, कम्युनिस्ट शासन तनहाई शिविरों में रखे गए हजारों बंदियों की हत्या कर रहा है ताकि उनके अंगों को काटा जा सके और उन्हें स्थानीय और विदेशी ग्राहकों को उच्च कीमतों पर बेचा जा सके।एक पूर्व जापानी आपराधिक गिरोह का सदस्य इस बारे में अपने अनुभव को लेकर आगे आया है। उसने बताया कि किस तरह से चीनी सर्जनों ने एक युवक को भागने से रोकने के लिए उसकी नस काट दी और इसके बाद उसे बेहोश कर दिया। ‘विजन टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, इसके बाद सर्जनों ने उसका ऑपरेशन कर उसके शरीर से लीवर को निकाल लिया।इस बीच, विशेषज्ञों, राजनेताओं और पीड़ितों ने संयुक्त रूप से चीनी कम्युनिस्ट पार्टी (CCP) की ‘जबरन अंग कटाई धंधे में कथित संलिप्तता पर चिंता जताई है।

 

बुधवार को ब्रसेल्स में आयोजित ‘फोर्स्ड ऑर्गन हार्वेस्टिंग ट्रेड: द स्कैंडल ऑफ़ सीसीपी दैट शॉक द वर्ल्ड सत्र में इन विशेषज्ञों ने इस बारे में विस्तार से बातें कीं और गवाह के बयान सुने। बैठक का आयोजन यूरोपीय संसद के सदस्य (एमईपी) टॉमस ज़ेडचोव्स्की और अन्य गणमान्य व्यक्तियों द्वारा किया गया था। MEP टॉमस ज़ेडचोव्स्की ने कहा कि चीन की सरकार समर्थित अंग कटाई और व्यापार नीति पूरी तरह से अस्वीकार्य है। उन्होंने कहा कि ताइवान की अपनी यात्रा के दौरान वह व्यक्तिगत रूप से जबरन अंग कटाई के पीड़ितों से मिले, जिनके अंगों को जबरन निकाला गया था और जो इस दर्दनाक अनुभव से गुजरे थे। 


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Content Writer

Tanuja

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