शिक्षा निदेशालय ने निजी स्कूलों को लगाई फटकार

punjabkesari.in Sunday, Dec 02, 2018 - 01:13 PM (IST)

नई दिल्ली :  शिक्षा निदेशालय ने निजी स्कूलों की मनमानी को लेकर फटकार लगाई है। दरअसल, शिक्षा निदेशालय द्वारा कई बार निजी स्कूलों को ईडब्ल्यूएस और डीजी श्रेणी वाले छात्रों को फ्री में किताब, यूनिफॉर्म और लेखन सामग्री देने का आदेश दिया गया है। इसके बाद भी निजी स्कूल द्वारा शिक्षा निदेशालय के आदेश की अवहेलना की जा रही है। इसको लेकर अभिभावकों ने शिक्षा निदेशालय से शिकायत की है। इसी को संज्ञान में लेते हुए एक बार फिर से निजी स्कूलों को आदेश दिया है कि ईडब्ल्यूएस और डीजी श्रेणी वाले छात्रों को स्कूल की यूनिफॉर्म से लेकर लेखन सामग्री फ्री में दी जाए। शिक्षा निदेशालय ने नोटिस जारी करते हुए कहा है कि दिल्ली राइट टू फ्री एंड कंपल्सरी एजुकेशन टू चिल्ड्रन रूल्स 2011 के तहत सभी स्कूलों में बच्चों को पढऩे का अधिकार है। इसी के तहत वर्ष 2016 में हाईकोर्ट ने आदेश दिया था, कि सभी निजी स्कूलों में ईडब्ल्यूएस और डीजी श्रेणी के छात्रों को पूरी तरह फ्री एजुकेशन दिया जाए। इस विषय को लेकर शिक्षा निदेशालय द्वारा वर्ष 2016 से लेकर निजी स्कूलों को नोटिस देकर बताया गया था। इसके बावजूद भी निजी स्कूल अपनी मनमानी कर रहे हैं और ईडब्ल्यूएस और डीजी श्रेणी के छात्रों को किताब और यूनिफॉर्म फीस के नाम पर अभिभावकों परेशान कर रहे हैं। 

प्री-स्कूल अब अलग से नहीं चला सकेंगे दाखिला प्रक्रिया
शिक्षा निदेशालय ने गाइडलाइन जारी कर स्पष्ट किया है कि राजधानी में नामी स्कूलों के प्री (प्ले स्कूल) व मांटेसरी स्कूल अलग से दाखिला प्रक्रिया नहीं चला सकते हैं। ऐसे स्कूलों को शिक्षा निदेशालय की नर्सरी गाइडलाइंस के आधार पर ही दाखिले करने होंगे। गाइडलाइन में ये स्पष्ट किया गया है कि प्री या मांटेसरी स्कूल को मुख्य स्कूल का हिस्सा ही माना जाएगा। ऐसे में मुख्य स्कूल के लिए दिए गए दिशा-निर्देश इन स्कूलों पर भी मान्य होंगे। निदेशालय ने 1999 में गाइडलाइन जारी कर यह कहा था कि मुख्य और प्री स्कूल चलाने वाली एक ही संस्था के सभी स्कूल एक ही माने जाएंगे, उन्हें अलग-अलग दाखिला प्रक्रिया चलाने की अनुमति नहीं होगी। इसे ऐसे भी समझा जा सकता है कि यदि मुख्य स्कूल व प्री स्कूल को एक ही सोसायटी चला रही है तो वह एक ही स्कूल माना जाएगा। 
 


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