तस्वीरों में देखें भारत के वो 10 स्थान जहां जाने से कट जाते हैं पाप
punjabkesari.in Friday, Sep 18, 2015 - 03:01 PM (IST)
भारत में धार्मिक स्थानों का अनूठा संग्रह देखने को मिलता है। जहां प्रत्येक वर्ष अंसख्य श्रद्धालु अपनी खाली झोलियां लेकर सैंकड़ों मील दूरी का सफर तय करके आते हैं और झोलियां भरकर वापिस लौटते हैं। आम जन मानस में इन स्थलों के प्रति प्रगाढ श्रद्धा तथा भक्ति है। प्रत्येक स्थल से कोई न कोई मान्यता अथवा संबंध जुड़े हैं तथा सभी स्थलों की अपनी-अपनी मौलिक विशेषताएं भी हैं। तो आईए जानें उन स्थानों के विषय में जहां जाने से कट जाते हैं पाप-
बद्रीनाथ के ब्रह्म कपाल में ब्रह्मा जी ब्रह्म हत्या के पाप से मुक्त हुए थे। पुराणों के अनुसार यहां पिंड दान और श्राद्ध कर्म करने से आत्मा मुक्त हो जाती है।
बिहार के गया में देश-विदेश से हिंदू श्रद्धालु प्रेतशिला दर्शन अथवा अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए पिंडदान करने आते हैं।
ब्रह्मपुराण में कहा गया है जो व्यक्ति जगन्नाथपुरी में स्थित इंद्रद्युम्न कुंड में स्नान करता है वह इंद्रलोक को जाता है। जो जातक अपने पितृ पक्ष का यहां पिंड दान करता है वह अपनी आने वाली 21 पीढ़ियों का उद्घार भी करता है।
चार धामों में से एक धाम केदारनाथ मंदिर से लगभग 500 मीटर की दूरी पर सरस्वती नदी है उसके तट पर रेतस कुंड है। कहते हैं कि इस कुंड का जल पीने वाला व्यक्ति शिवरूप हो जाता है। इस स्थान पर ऊं नम: शिवाय का जाप करने से जल में बुलबुले उठने लगते हैं। उत्तराखंड त्रासदी के उपरांत यह कुंड लुप्त हो गया है।
कहते हैं राजस्थान के झुंझुनूं जिले में अवस्थित लोहार्गल सूर्य कुंड भगवान सूर्य नारायण का घर है क्योंकि सूर्यदेव ने अपनी पत्नी छाया के संग यहां तप करके श्री हरि विष्णु से यहां रहने के लिए वरदान मांगा था। पौराणिक कहानी के अनुसार महाभारत युद्घ के उपरांत पाण्डवों ने सूर्य कुंड में स्नान करके ब्रह्महत्या के पाप से मुक्ति पाई थी। भगवान परशुराम ने भी क्षत्रियों के वध के उपरांत यहां स्नान करके अपने पापों का अंत किया था।
इसके अतिरिक्त राजस्थान का पुष्कर मेला, गढ़मुक्तेश्वर गढ़ गंगा, बनारस का मणिकर्णिका घाट, पशुपतिनाथ बागमती घाट, हरियाणा का कपालमोचन और ऋणमोचन सरोवर यह कुछ ऐसे प्रसिद्ध स्थान हैं जहां जाने अथवा स्नान करने से मोक्ष तो प्राप्त होता ही है साथ ही कट जाते हैं पाप।