वैसाख पूर्णिमा 2021: इस दिन पीपल के वृक्ष पर देवी लक्ष्मी करती हैं वास, पूजा से आती है सुख-समृद्धि

punjabkesari.in Saturday, May 22, 2021 - 03:59 PM (IST)

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सनातन धर्म के प्रत्येक मास की तरह वैशाख मास में भी हिंदू धर्म के कई प्रमुख त्योहार मनाए जाते हैं। वैशाख मास के त्योहारों की सूची में कई महत्वपूर्ण त्योहार शामिल हैं। 26 मई बुधवार यानी वैशाख मास की पूर्णिमा तिथि को वैशाखी पूर्णिमा का पर्व मनाया जाएगा। धार्मिक किंवदंतियों के अनुसार इसे  पीपल पूर्णिमा तथा बुद्ध पूर्णिमा के नाम से भी जाना जाता है। कहा जाता है कि वैशाख मास की यह तिथि स्वयं सिद्ध मुहूर्त मानी जाती है अर्थात यह दिन काफी पावन व शुखदायक कहलाता है। चूंकि इसे पीपल पूर्णिमा के नाम से जाना जाता है इसलिए इस दिन पीपल की पूजा का विधान शास्त्रों में बताया गया है। वास्तु शास्त्र की बात करें तो उसके अनुसार भी पीपल का पेड़ धार्मिक रूप से तो खास होता ही है साथ ही साथ इसकी पूजा करने से अन्स लाभ भी प्राप्त होते हैं। तो आइए जानते हैं कि इस दिन पीपल की पूजा का क्या महत्व है

उपरोक्त जानकारी के अनुसार वैशाखी पूर्णिमा इसे पीपल पूर्णिमा के नाम से जाना जाता है इसलिए इस दिन पीपल  की पूजा  जरूर करनी चाहिए। इससे कुंडली में अस्थिर ग्रह फिरता में आते हैं तथा साथ ही साथ पित्र दोष से भी निवारण होता है।

ज्योतिषी बताते हैं कि पीपल पूर्णिमा के दिन व्यक्ति सभी प्रकार के मांगलिक कार्य कर सकते हैं। इस दिन खासतौर पर कुंडली में गुरु सूर्य के बल को देखने की आवश्यकता नहीं होती।

वैशाखी पूर्णिमा के दिन पीपल की पूजा करने से कुंडली में शनि गुरु सहित अन्य सभी ग्रह अपना शुभ प्रभाव प्रदान करने लगते हैं।

वास्तु शास्त्र के अनुसार इस दिन जितना हो सके पौधे को लगाने चाहिए। इससे जीवन में पैदा कई वास्तु दोष तथा अन्य कष्ट दूर होते हैं। साथ ही साथ देव गुरु बृहस्पति की कृपा भी प्राप्त होती है।

कुछ मान्यताएं यह भी हैं कि वैशाख पूर्णिमा के दिन सुबह-सुबह पीपल के वृक्ष पर देवी लक्ष्मी का आगमन होता है जिस कारण इसकी पूजा करनी बहुत लाभदायक होती है तथा इससे घर में सुख समृद्धि बनी रहती है।

 


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Content Writer

Jyoti

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