Sharad Purnima 2025: शरद पूर्णिमा पर ये दान खोल सकते हैं बंद किस्मत के बंद दरवाजे
punjabkesari.in Saturday, Oct 04, 2025 - 06:00 AM (IST)

शास्त्रों की बात, जानें धर्म के साथ
Sharad Purnima 2025: शरद पूर्णिमा हिंदू धर्म में सबसे पवित्र और चमत्कारी पूर्णिमा मानी जाती है। मान्यता है कि इसी रात चंद्रमा अपनी सोलह कलाओं से परिपूर्ण होकर पृथ्वी पर अमृत बरसाता है। इस रात को कोजागरी पूर्णिमा भी कहते हैं, क्योंकि रात्रि में मां लक्ष्मी धरती पर भ्रमण करती हैं और भक्तों के घरों में प्रवेश करती हैं। वर्ष 2025 में शरद पूर्णिमा का पर्व 6 अक्टूबर, सोमवार को मनाया जाएगा। इस शुभ तिथि पर दान करने का विशेष महत्व है क्योंकि दान से मां लक्ष्मी तुरंत प्रसन्न होती हैं और आपका सोया हुआ भाग्य चमक उठता है।
Donate these things on Sharad Purnima शरद पूर्णिमा पर इन चीजों का दान चमकाएगा आपका भाग्य
शास्त्रों के अनुसार, शरद पूर्णिमा पर किए गए दान से मां लक्ष्मी और चंद्र देव दोनों की कृपा प्राप्त होती है।
खीर का दान
शरद पूर्णिमा पर चांदनी में रखी गई खीर को प्रसाद मानकर दान करना सबसे उत्तम माना जाता है। मान्यता है कि इस खीर में अमृत के गुण समाहित होते हैं। मां लक्ष्मी को खीर अत्यंत प्रिय है। इसका दान करने से आपके घर में अन्न-धन की कमी कभी नहीं होती और परिवार में सुख-समृद्धि आती है।
चावल और गेहूं का दान
चावल का संबंध सीधे चंद्रमा से है, जो मन, शीतलता और समृद्धि के कारक हैं। गेहूं का दान सूर्य देव का आशीर्वाद दिलाता है। दोनों का दान करने से आपकी कुंडली में चंद्रमा और सूर्य की स्थिति मजबूत होती है।
सफेद वस्त्र का दान
इस दिन सफेद वस्त्र, जैसे धोती, कुर्ता, या कंबल का दान करना बहुत शुभ होता है। सफेद रंग शुद्धता, शांति और चंद्रमा का प्रतीक है। मां लक्ष्मी को सफेद रंग अति प्रिय है। सफेद वस्त्र का दान करने से चंद्रमा से जुड़ी सभी दोष दूर होते हैं।
दीपदान
शरद पूर्णिमा की रात दीपदान करने से जीवन का अंधकार दूर होता है। इस रात किसी पवित्र नदी, मंदिर या तुलसी के पौधे के पास दीपक जलाकर दान करने को दीपदान कहते हैं। यह न केवल मां लक्ष्मी को प्रसन्न करता है बल्कि पितरों का आशीर्वाद भी दिलाता है।
गुड़
अगर आप कुंडली में गुरु और मंगल की स्थिति मजबूत करना चाहते हैं तो गुड़ का दान अत्यंत लाभकारी है। गुड़ दान करने से घर की आर्थिक स्थिति मजबूत होती है। गुड़ के दान से घर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है और सभी प्रकार के रोग-दोष दूर होते हैं।