कुमार स्वामी जीे ने पश्चिमी देशों की जनकल्याण यात्रा की, वर्ल्ड बुक ऑफ रिकार्ड्स से हुए सम्मानित

punjabkesari.in Sunday, Jul 21, 2024 - 07:24 AM (IST)

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जालंधर (सुधीर): यूरोप, इंग्लैंड, कनाडा और अमेरिका की जनकल्याण यात्रा के समापन के बाद महाब्रह्मर्षि कुमार स्वामी जी का भारत लौटने पर श्रद्धालुओं द्वारा भव्य स्वागत किया गया। विश्व पटल पर महाब्रह्मर्षि जी की इस जनकल्याण यात्रा को बहुत ही महत्वपूर्ण माना जा रहा है। उल्लेखनीय है कि 5 वर्षों की लंबी प्रतीक्षा के बाद महाब्रह्मर्षि कुमार स्वामी का यूरोप व यू.के. पहुंचने पर श्रद्धालुओं द्वारा उत्साह से भव्य स्वागत किया गया। गत 22 जून से ब्रेसिया, इटली से इस यात्रा की शुरूआत हुई। 29 जून को लेस्टर और 30 जून को हैरो में इनका पदार्पण हुआ। 

इस दौरान समागमों में अनेक विशिष्ट जन आए जिनमें मैम्बर ऑफ पार्लियामैंट, काऊंसलर, मेयर, चांसलर, वाइस चांसलर, वैज्ञानिक, डाक्टर तथा ख्यातिप्राप्त बुद्धिजीवियों ने महाब्रह्मर्षि कुमार स्वामी से आशीर्वाद लिया, वहीं असंख्य लोगों ने अपने-अपने दुखों से मुक्ति के अनुभव भी सुनाए कि किस तरह दिव्य पाठ से उनके दुख, रोग तथा कष्ट समाप्त हो गए।

ज्ञात हो कि महाब्रह्मर्षि जी का आशीर्वाद लेने के लिए भाई-बहन रात भर लाइन लगाकर खड़े रहे। लंदन में आयोजित समागम में महाब्रह्मर्षि कुमार स्वामी जी को लंदन की विश्व प्रसिद्ध संस्था द्वारा इन्हें ‘वर्ल्ड बुक ऑफ रिकार्ड्स’ का अवार्ड देकर विभूषित किया गया। 

6 जुलाई को कनाडा और 10 जुलाई को ओहायो में कृपा प्रदान करते हुए इस जनकल्याण यात्रा का अंतिम पड़ाव न्यूजर्सी, अमरीका में रहा। इस जनकल्याण यात्रा के दौरान महाब्रह्मर्षि जी ने मंत्र विज्ञान व आयुर्विज्ञान दोनों का ज्ञान प्रवाह किया तथा मां दुर्गा के दैव्य विज्ञान की कृपा प्रदान की। इससे हजारों की संख्या में लोगों के असाध्य रोग कुछ ही मिनटों में जड़ से समाप्त हो गए। असाध्य रोगों व समस्याओं के निवारण से नागरिकों के मन में संतोष का भाव था और महाब्रह्मर्षि जी का अभिवादन, वंदन करते हुए मां दुर्गा के पाठ की शक्ति को नमन किया।
 


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Content Editor

Prachi Sharma

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