हरियाणा ने माना-चंडीगढ़ उसका हिस्सा नहीं, पंजाब ने हाईकोर्ट को भटकाया

punjabkesari.in Tuesday, Sep 10, 2019 - 11:50 AM (IST)

चंडीगढ़ (रमेश): हरियाणा सरकार ने पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट में स्पष्ट रूप से स्वीकार किया कि चंडीगढ़ उसका हिस्सा नहीं है, सिर्फ राजधानी है, जबकि पंजाब ने हाईकोर्ट को भटकाते हुए कहा है कि चंडीगढ़ पंजाब का पार्ट भी है और राजधानी भी लेकिन दोनों ही राज्य हाईकोर्ट में चंडीगढ़ उनकी राजधानी है। 

 

इसका सबूत या अधिसूचना नहीं दिखा पाए। फूल सिंह नामक व्यक्ति की याचिका पर सोमवार को सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने पंजाब, हरियाणा और केंद्र को इस बारे में एफिडेविट दाखिल करने के निर्देश दिए हैं।

 

नहीं देंगे किसी बाहरी को आरक्षण का लाभ 
दोनों राज्यों ने साफ किया कि चंडीगढ़ के अनुसूचित जाति, जनजाति  या किसी और तरह के किसी भी आरक्षण का लाभ किसी दूसरे राज्य या केंद्र शासित प्रदेश से संबंध रखने वाले किसी नागरिक को नहीं देंगे। वो चाहें तो जनरल कैटेगरी में अप्लाई कर सकते हैं।

 

केंद्र ने जवाब के लिए समय लिया  
चंडीगढ़ पंजाब और हरियाणा की राजधानी है, इसको लेकर जस्टिस आर.के. जैन और जस्टिस अरुण कुमार त्यागी की बैंच पर सुनवाई के दौरान पंजाब और हरियाणा के एडवोकेट जनरल ने कोर्ट में अपनी-अपनी दलीलें रखीं, जबकि केंद्र सरकार ने जवाब दाखिल करने के लिए समय लिया है। जस्टिस आर.के. जैन ने सुप्रीम कोर्ट की दो जजमैंट्स का हवाला देते हुए कहा कि उसमें लिखा हुआ है कि चंडीगढ़ यूनियन टैरिटरी है लेकिन चंडीगढ़ हरियाणा का भाग नहीं है। 

 

जिस पर हरियाणा के एडवोकेट जनरल बलदेव महाजन ने कहा कि जो दस्तावेज मिले हैं उसके मुताबिक चंडीगढ़ हरियाणा की राजधानी है लेकिन चंडीगढ़ हरियाणा का हिस्सा नहीं है। पंजाब के एडवोकेट जनरल अतुल नंदा ने दलीलें पेश हुए कहा कि चंडीगढ़ पंजाब का भाग भी है और राजधानी भी। 

 

चंडीगढ़ ने भी किया इंकार
हालांकि चंडीगढ़ प्रशासन के वकील पंकज जैन ने कहा कि चंडीगढ़ केंद्र शासित प्रदेश है तथा पंजाब और हरियाणा की राजधानी है लेकिन दोनों राज्यों का भाग नहीं है। हाईकोर्ट ने पंजाब, हरियाणा और केंद्र सरकार को अगली सुनवाई पर इस पर हलफनामा दाखिल करने के निर्देश दिए हैं। मामले की अगली सुनवाई 23 सितम्बर को होगी।

 

चंडीगढ़ निवासी फूल सिंह अनुसूचित जाति से संबंध रखते हैं, जिन्होंने डिस्ट्रिक्ट जज के लिए आवेदन किया था और वह पंजाब व हरियाणा में  मैरिट में आते रहे मगर दोनों ही राज्य कहते हैं कि वो उनके राज्य का हिस्सा नहीं हैं। याचिकाकर्ता पक्ष की तरफ से सुप्रीम कोर्ट के एक फैसले का हवाला दिया गया है, जिसमें एम.बी.ए. के छात्र जिन्होंने चंडीगढ़ से 12वीं पास की थी उनको पंजाब में योग्य नहीं माना जाता था।

 

इस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि चंडीगढ़ पंजाब की राजधानी है और पंजाब का हिस्सा है। इसलिए उनको पंजाब मैडीकल कालेज में एडमिशन के लिए योग्य माना जाएगा। इस आदेश को ग्राऊंड बनाकर ही याचिका दायर की गई। इस पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने पंजाब और हरियाणा दोनों को जवाब देने को कहा था कि कोई नोटिफिकेशन या कागजात दिखाएं, जिससे ये साफ हो सके कि चंडीगढ़ हरियाणा या पंजाब की राजधानी बना हो।


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pooja verma

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