PPF पर ब्याज और घटेगा!

punjabkesari.in Wednesday, Oct 12, 2016 - 12:35 PM (IST)

नई दिल्लीः सरकार ने सार्वजनिक भविष्य निधि (पी.पी.एफ.) पर अक्तूबर-दिसंबर के लिए ब्याज दरें घटाकर 8 फीसदी कर दिया है। इसके साथ ही इस पर ब्याज घटकर 40 साल के निचले स्तर पर आ गया है। रिजर्व बैंक द्वारा 4 अक्तूबर की समीक्षा में नीतिगत दरें घटाने के बाद जनवरी-मार्च के लिए पी.पी.एफ. की दर के और नीचे आने के आसार हैं। 

वर्ष 1977 में पी.पी.एफ. पर ब्याज दर 8 फीसदी के स्तर पर था। वित्तीय सलाहाकारों का कहना है कि दरों में कटौती के बावजूद पी.पी.एफ. छोटी जमाओं में सबसे अधिक आकर्षक है क्योंकि इसपर 3 स्तरों पर टैक्स छूट मिलती है। पी.पी.एफ. और अन्य छोटी जमाओं पर ब्याज दरें अब हर 3 महीनें पर संशोधित होने लगी है। इस माह 4 तारीख को रिजर्व बैंक ने नीतिगत दरों में 0.25 फीसदी की कटौती है। इससे बॉन्ड पर यील्ड में कमी आई है जिसके मद्देनजर सरकार जमाओं पर ब्याज दरें तय करती है। वित्तीय क्षेत्र के जानकारों का कहना है कि ऐसे में आने वाले समय में पी.पी.एफ. पर मिलने वाले ब्याज में और कटौती की संभावना है। 

सावधि जमा (एफ.डी.) पर ब्याज दरें घटकर 7 से 7.50 फीसदी के बीच रह गई हैं। 10 फीसदी आयकर श्रेणी में आने वाले लोगों को एफ.डी. पर वास्तविक ब्याज दर 6.30 से 6.75 फीसदी के बीच रह जाएगी। इस लिहाज से पी.पी.एफ. पर 8 फीसदी का कर मुक्त ब्याज एफ.डी. से ज्यादा आकर्षक है। पी.पी.एफ. में निवेश, ब्याज और परिपक्वता राशि तीनों पर कर छूट है।

रिटर्न घटा
* 8 फीसदी ब्याज दर है अक्तूबर-दिसंबर के लिए पी.पी.एफ. पर
* 3.7 फीसदी था ब्याज वर्ष 1955-57 के बीच जो अब तक का न्यूनतम है
* 12 फीसदी था ब्याज वर्ष 1989-2001 के बीच जो अब तक का अधिकतम है
* 1.5 लाख रुपए तक सालाना आयकर छूट पी.पी.एफ. में निवेश करने पर मिलती है।
* 8.7 फीसदी मिला पी.पी.एफ. पर ब्याज वर्ष 2015-16 में

5 से पहले जमा पर ज्यादा कमाई
पी.पी.एफ. पर हर महीने 5 तारीख से पहले राशि जमा कर आप अधिक कमाई कर सकते हैं। पी.पी.एफ.  पर ब्याज का आंकलन हर माह की 5 से अंतिम तारीख के बीच शेष बची न्यूनतम राशि पर होता है। आपका पी.पी.एफ. खाता एक हजार रुपए का है और दूसरे महीने की 5 तारीख से पहले राशि जमा कराते हैं तो 2 हजार रुपए पर ब्याज मिलेगा। जबकि 5 के बाद जमा करने पर ब्याज का आंकलन एक हजार रुपए पर होगा।

एक खाता पर कई फायदे
पी.पी.एफ. खाता 15 साल के लिए खुलवा सकते हैं। इसके बाद 5 साल के चरण में इसे बढ़वा सकते हैं। जमा राशि के बदलते पी.पी.एफ. पर सस्ता कर्ज ले सकते हैं। सातवें साल से इसमें से आंशका राशि निकालने की छूट होती है।


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