अब भारतीय बैंक देंगे पड़ोसी देशों में रुपए में लोन, बढ़ेगी Indian Currency की ताकत
punjabkesari.in Tuesday, Oct 14, 2025 - 12:03 PM (IST)

बिजनेस डेस्कः भारत ने अपने रुपए को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मजबूत बनाने के लिए नया कदम उठाया है। अब भारतीय बैंक भूटान, नेपाल और श्रीलंका की अंतरराष्ट्रीय शाखाओं में स्थानीय लोगों और बैंकों को भारतीय रुपए में लोन उपलब्ध कराएंगे। इस कदम से रुपए को अमेरिकी डॉलर और चीनी युआन के सामने मजबूती मिलेगी और अंतरराष्ट्रीय पहचान बढ़ेगी। यदि यह मॉडल सफल रहा, तो इसे दक्षिण-पूर्व एशिया और अफ्रीका के अन्य देशों में भी लागू किया जा सकता है।
भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने हाल ही में इस दिशा में कई अहम कदम उठाए हैं। जनवरी 2025 में निर्यातकों को विदेशों में विदेशी मुद्रा खाते खोलने की अनुमति दी गई थी और अब अप्रयुक्त राशि को भारत के आईएफएससी बैंक में रखने की अवधि तीन महीने तक बढ़ा दी गई है। आरबीआई ने 1 अक्टूबर 2025 को पॉलिसी मीटिंग में भी कई सुधारों की घोषणा की थी, जिनका उद्देश्य क्रॉस-बॉर्डर लेनदेन में भारतीय रुपए के व्यापक उपयोग को बढ़ाना है।
इस पहल के तहत अधिकृत डीलर बैंकों को अब भूटान, नेपाल और श्रीलंका में व्यापारिक लेनदेन के लिए रुपए में लोन देने की अनुमति दी गई है। साथ ही आरबीआई ने प्रमुख व्यापारिक साझेदार देशों की करेंसी के लिए रेफरेंस रेट्स स्थापित करने की योजना बनाई है, जिससे अंतरराष्ट्रीय व्यापार में रुपए का उपयोग और मजबूत हो सके। विशेष रुपया वास्ट्रो खातों की शेष राशि को अब कॉर्पोरेट बॉन्ड और कमर्शियल पेपर्स में निवेश के लिए भी इस्तेमाल किया जा सकेगा।
इस कदम से दक्षिण एशिया में भारत का निर्यात और व्यापार और प्रभावशाली होगा। इससे रुपए की स्थिरता बढ़ेगी और अंतरराष्ट्रीय निवेशकों और व्यवसायों के लिए मुद्रा अधिक आकर्षक बनेगी। यूपीआई जैसी भारतीय भुगतान प्रणालियों के क्रॉस-बॉर्डर उपयोग को बढ़ावा देकर लेनदेन को तेज और आसान बनाने में भी मदद मिलेगी। इस तरह भारत रुपए को वैश्विक व्यापार, निवेश और वित्तीय लेनदेन में स्वीकृत और प्रभावशाली मुद्रा बनाने की दिशा में आगे बढ़ रहा है।