डिजिटल अर्थव्यवस्था में विस्तार के बावजूद, कागज कंपनियों मुनाफा बढ़ा

punjabkesari.in Friday, Feb 23, 2018 - 11:09 AM (IST)

नई दिल्लीः डिजिटल अर्थव्यवस्था में विस्तार के बावजूद जेके पेपर, वेस्ट कोस्ट पेपर और इंटरनैशनल पेपर जैसी भारतीय पेपर कंपनियां चालू वित्त वर्ष में अपने सबसे अधिक मुनाफे के प्रदर्शन की इबारत लिखने जा रही हैं। इन कंपनियों का मुनाफा वित्त वर्ष 2017-18 के पहले नौ महीनों में ही वित्त वर्ष 2016-17 के आंकड़े को पार कर गया। इसका श्रेय बेहतर क्षमता, अनुकूल कीमत के हालात और ब्याज व्यय में कमी को जाता है। जेके पेपर ने वित्त वर्ष 2018 की अप्रैल-दिसंबर अवधि के दौरान 1.9 अरब रुपये का शुद्ध लाभ दर्ज किया है। इसमें पिछले साल के मुकाबले 75 फीसदी की बढ़त हुई है। वित्त वर्ष 17 में अर्जित शुद्ध लाभ 1.62 अरब रुपए था।

वेस्ट कोस्ट पेपर ने इस वित्त वर्ष के पहले नौ महीनों में 1.44 अरब रुपये अर्जित किए। पिछले साल के मुकाबले इसमें 85 फीसदी बढ़ोतरी हुई। वित्त वर्ष 17 में यह लाभ करीब 1.3 अरब रुपये था। इस क्षेत्र की कई अन्य पेपर कंपनियों की भी यही कहानी है। पिछले महीने इन कंपनियों के शेयर की कीमत नई ऊंचाई पर पहुंच चुकी है।

प्रमुख कागज विनिर्माताओं की राजस्व वृद्धि लगभग समान रही है क्योंकि ये विनिर्माता एक साल से भी अधिक समय सेसौ प्रतिशत क्षमता पर परिचालन कर रहे हैं। जेके पेपर के मुख्य वित्त अधिकारी वी कुमारस्वामी ने कहा कि यह लाभ मुख्य रूप से परिचालन में सुधार की वजह से हुआ है। हाल के वर्षों में आपूर्ति बढऩे के कारण हम कुल लागत में बढ़ोतरी के साथ कीमतों को समायोजित नहीं कर सके। हालांकि, अधिक आपूर्ति के हालात ने लेखन और मुद्रण कागज जैसे खंडों में काफी हद तक सुधार किया है।


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