8 बेटों की मदद से अपराध जगत की महारानी बनी बसीरां उर्फ मम्मी

punjabkesari.in Wednesday, Aug 22, 2018 - 05:16 AM (IST)

यह 1980 के दशक का शुरूआती समय है, जब आगरा की रहने वाली बसीरां अपने पति के साथ देश की राजधानी में आई। उन्हें दक्षिणी दिल्ली के गोविन्दपुरी क्षेत्र स्थित नवजीवन कैम्प में शरण मिली मगर उन्हें आय के स्रोत के लिए संघर्ष करना पड़ा। 

फिर दम्पति अपराध के जीवन की ओर मुड़ गया जिसकी शुरूआत उन्होंने अवैध शराब की बिक्री से की। विशेष तौर पर बसीरां शहर के अंडरवल्र्ड में और भी गहरे चली गई। वर्षों के दौरान 62 वर्षीय बसीरां अपने 8 बेटों की सहायता से राजधानी में अपराध की महारानी बन गई, जिसमें हत्या, जबरन वसूली, जमीन पर कब्जे करना और यहां तक कि पानी की कालाबाजारी शामिल है। दिल्ली पुलिस ने गत शनिवार को बसीरां उर्फ मम्मी की गिरफ्तारी की घोषणा की, जिस पर उसके परिवार के साथ 113 मामले दर्ज हैं। 

साऊथ जिला के उप पुलिस आयुक्त रोमिल बानिया ने बताया कि बसीरां एक खूंखार गैंगस्टर है, जो लोगों को खत्म करने के लिए सुपारी लेती थी। सितम्बर 2017 में एक युवक की हत्या में पुलिस द्वारा उसे शामिल पाने के बाद वह इस वर्ष जनवरी से भगौड़ी थी। उन्होंने बताया कि वह शुक्रवार को अपने पारिवारिक सदस्यों से मिलने के लिए संगम विहार आई थी जहां पुलिस ने उसे पकड़ लिया। डी.सी.पी. ने बताया कि बसीरां ने अपनी सौतेली बहन द्वारा एक युवक की हत्या करने के लिए 60,000 रुपए की सुपारी ली थी। कुछ दिन बाद पुलिस को एक जंगली क्षेत्र में एक जला तथा गला-सड़ा शव मिला था। 

बानिया ने बताया कि जांच के दौरान पुलिस ने जनवरी 2018 में एक किशोर को पकड़ा जिसने हत्या में बसीरां के शामिल होने का खुलासा किया। उसके तीन करीबी सहयोगी आकाश उर्फ अक्की, विकास उर्फ विक्की तथा नीरज उर्फ जग्गी ने मिराज को नशे की दवा दी और जंगल में ले जाकर उसे बैल्ट से बांध दिया। इसके बाद आरोपियों ने उसके शरीर को आग लगा दी तथा अवशेषों को जंगल में दबा दिया। 

बसीरां को अपनी गिरफ्तारी का अनुमान हो गया था और वह दिल्ली से भाग गई। वह अहमदाबाद, इलाहाबाद, मैनपुरी तथा फिरोजाबाद में लगभग 8 महीनों तक घूमती रही। पुलिस द्वारा उसकी सम्पत्ति जब्त करने के लिए साकेत कोर्ट में मामला दायर करने के बाद निर्णय उनके पक्ष में आने के उपरांत बसीरां नई रणनीति बनाने के लिए शहर में लौट आई। पुलिस अधिकारियों ने बताया कि लेडी डॉन ने अपने बेटों को अपराध जगत में आने तथा स्थानीय लोगों में उसके नाम का खौफ पैदा करने के लिए प्रोत्साहित किया। 

उसने संगम विहार में पेयजल की कमी में अवसर देखा और क्षेत्र में सरकारी जल इकाइयों तथा कुओं पर कब्जा करने की योजना बनाई। वह और उसका परिवार क्षेत्र का जल टैंकर माफिया बन गया और उनका काम विशेष तौर पर गर्मियों में खूब फलता-फूलता था। उस तथा उस जैसे अन्य से निपटने के लिए दिल्ली पुलिस ने 1999 में संगम विहार में महाराष्ट्र कंट्रोल  ऑफ आर्गेनाइज्ड एक्ट (मकोका) लगा दिया। बानिया ने बताया कि बसीरां ने अपने अपराधी बेटों की मदद से क्षेत्र में अपना प्रभुत्व कायम कर लिया। 

अधिकारियों ने बताया कि बसीरां के बेटों में सबसे खतरनाक शमीम उर्फ गूंगा पर हत्या, हत्या का प्रयास, अपहरण, हथियार कानून, जबरन वसूली, डकैती तथा उसके नाम पर डकैती के 42 मामले हैं। उसके अतिरिक्त उसके अन्य बेटों में शकील के खिलाफ ऐसे 15 मामले, वकील के खिलाफ 13, फैसल तथा सन्नी खान के खिलाफ 9-9, राहुल खान के खिलाफ 3 तथा सलमान खान के खिलाफ 2 मामले दर्ज हैं। बसीरां का एक किशोर बेटा भी है, उसके खिलाफ भी हत्या तथा जबरन वसूली के आरोप हैं।-ए. कुमार


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