‘चीन में फैला वायरस एच.एम.पी.वी.’ ‘अब भारत में फैलने की आशंका’

punjabkesari.in Tuesday, Jan 07, 2025 - 05:44 AM (IST)

लगभग 5 वर्ष पूर्व चीन के ‘वुहान’ शहर से शुरू हुए ‘कोरोना वायरस’ ने तबाही मचा दी थी जिसके परिणामस्वरूप विश्व भर में 71 लाख से अधिक लोगों की मौत हुई थी।  इन दिनों चीन ‘ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस’ (एच.एम.पी.वी.) नामक तेजी से फैल रहे एक नए वायरस के प्रकोप से जूझ रहा है। वहां सर्दियां शुरू होते ही अस्पतालों में निमोनिया के मरीजों की संख्या भी काफी बढ़ गई है तथा बड़ी संख्या में लोगों की जान जाने की खबरें भी आ रही हैं। वयस्कों के अलावा बड़ी संख्या में 14 वर्ष तक आयु के बच्चे इससे प्रभावित देखे जा रहे हैं लेकिन सर्वाधिक प्रभावित 2 वर्ष से कम उम्र के बच्चे हैं जिसके कारण चीन में हालात इतनी तेजी से बिगड़ रहे हैं कि वहां की सरकार ने स्वास्थ्य आपातकाल की घोषणा भी कर दी है।

‘विश्व स्वास्थ्य संगठन’ के अनुसार हालांकि डच वैज्ञानिकों ने इसकी खोज 2001 में ही कर ली थी परंतु 2 दशक से अधिक समय बीत जाने के बावजूद अभी तक इसके इलाज के लिए कोई विशिष्टï ‘एंटी वायरल थैरेपी’ तथा ‘टीका’ नहीं बना। इस वायरस के लक्षण सर्दियों में होने वाले अन्य वायरल संक्रमणों के समान हैं। इसके कारण खांसी, बुखार, नाक बंद होना, सांस लेने में तकलीफ से ब्रोंकाइटिस या निमोनिया जैसी समस्याएं हो सकती हैं। सामान्य मामलों में यह गले में घरघराहट या खराश का कारण बनता है तथा छोटे बच्चों व बुजुर्गों में यह संक्रमण गंभीर रूप ले सकता है।

केंद्र सरकार द्वारा जारी एडवाइजरी के अनुसार इससे बचने के लिए मास्क लगाने, खूब पानी पीने और पौष्टिïक भोजन करने, संक्रमण घटाने के लिए कमरे में वैंटीलेशन करने, भीड़भाड़ वाली जगहों से बचने, घर आने पर साबुन और पानी  से कम से कम 20 सैकंड हाथ धोने या अल्कोहल आधारित हैंड सैनेटाइजर का इस्तेमाल करने, बिना धुले हाथों से आंख, नाक या मुंह को छूने से बचने, संक्रमित लोगों से दूरी बनाए रखने की जरूरत है। इसके अलावा छींकते समय अपने हाथ और मुंह को ढंकने, संक्रमित लोगों के साथ खाने के बर्तन सांझा न करने और बीमार होने की स्थिति में घर पर ही रहने की जरूरत है। लोगों से हाथ मिलाने की बजाय नमस्ते करें। छींकते-खांसते समय नाक, मुंह को ढंकना और हाथों को साफ करना भी जरूरी है। खांसने और छींकने से निकलने वाले ‘ड्रापलेट्स’ (कण) से इस संक्रमण का खतरा हो सकता है। फेफड़ों की बीमारी वालों को अतिरिक्त सतर्कता बरतनी चाहिए।

भारत में भी इस रोग ने दस्तक दे दी है तथा यहां भी चीन में फैले एच.एम.पी.वी. वायरस के 5 केस मिले हैं। पहला केस राजस्थान से इलाज के लिए अहमदाबाद पहुंचे 2 महीने के एक बच्चे का है जिसे 15 दिन पहले अहमदाबाद के अस्पताल में दाखिल करवाया गया था। शुरू में 5 दिनों तक उसे वैंटीलेटर पर भी रखा गया था और उसके बाद की गई जांचों में वायरस के संक्रमण का पता चला।

दूसरा तथा तीसरा केस कर्नाटक के बेंगलुरू में 3 महीने की बच्ची और 8 महीने के बच्चे का है। इन दोनों बच्चों की जांच बेंगलुरू के एक अस्पताल में की गई थी। सर्दी और तेज बुखार से पीड़ित उक्त दोनों बच्चों के मामले में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया है कि दोनों बच्चे रुटीन जांच के लिए अस्पताल पहुंचे थे और जांच करने पर उनकी रिपोर्ट पॉजिटिव पाई गई। अभी यह लेख लिखा ही जा रहा था कि चेन्नई में भी 2 बच्चों के संक्रमित होने का समाचार आ गया। इस प्रकार इस वायरस से संक्रमित होने वालों की संख्या बढऩे की प्रबल आशंका है। अत: इस संबंध में स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी एडवाइजरी के अनुसार सावधानी बरतने में ही भलाई है क्योंकि जैसे-जैसे चीन में इस संक्रामक रोग के मामले बढ़ रहे हैं, इस वायरस के खतरों और इलाज की कमी के बारे में ङ्क्षचताएं भी बढ़ रही हैं।—विजय कुमार 


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