ड्रॉपआउट दर में गिरावट आई, दाखिला बढ़ा : आर्थिक समीक्षा

punjabkesari.in Tuesday, Jan 31, 2023 - 09:23 PM (IST)

नयी दिल्ली, 31 जनवरी (भाषा) संसद में पेश 2022-23 की आर्थिक समीक्षा में कहा गया है कि बच्चों के बीच में ही स्कूली पढ़ाई छोड़ने की दर में गिरावट दर्ज की गई है और स्कूली एवं उच्च शिक्षा दोनों स्तरों पर नामांकन में वृद्धि हुई है।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा संसद में पेश आर्थिक समीक्षा में कहा गया है कि वित्त वर्ष 2022 में सकल नामांकन अनुपात और लैंगिक समानता में सुधार देखा गया है।
इसमें कहा गया है कि छह से दस वर्ष की आयु के लड़के-लड़कियों की जनसंख्या के प्रतिशत के रूप में प्राथमिक नामांकन में वित्त वर्ष 2022 में सकल नामांकन अनुपात (जीईआर) में सुधार हुआ है। इस सुधार ने वित्त वर्ष 2017 और वित्त वर्ष 2019 की अवधि के बीच गिरावट की प्रवृत्ति को उलट दिया है।

रिपोर्ट के अनुसार, उच्च प्राथमिक स्तर पर सकल नामांकन अनुपात में वर्ष 2022 में सुधार हुआ है। ग्यारह से 13 वर्ष की आयु के जनसंख्या प्रतिशत के रूप में छठी से आठवीं कक्षा में नामांकन हालांकि वित्त वर्ष 17 और वित्त वर्ष 19 के बीच स्थिर था।
प्राथमिक और उच्च प्राथमिक स्तर पर संबंधित आयु समूहों में लड़कियों का सकल नामांकन अनुपात लड़कों की तुलना में बेहतर हुआ है।

वित्त वर्ष 2022 में कुल मिलाकर 26.5 करोड़ बच्चे स्कूल में नामांकित हुए, 19.4 लाख अतिरिक्त बच्चों का प्राथमिक से उच्च माध्यमिक स्तर पर नामांकन हुआ। इस वित्त वर्ष में विशेष आवश्यकता वाले बच्चों का कुल नामांकन 22.7 लाख है, जो इससे पिछले वर्ष की तुलना में 3.3 प्रतिशत की वृद्धि को दर्शाता है।

इसमें कहा गया है कि पूर्व प्राथमिक स्तर को छोड़कर प्राथमिक, उच्च प्राथमिक, माध्यमिक और उच्च माध्यमिक स्तरों पर दाखिला बढ़ा है। पूर्व प्राथमिक स्तर पर वित्त वर्ष 2021 में दाखिला 1.1 करोड़ था, जो वित्त वर्ष 2022 में घटकर एक करोड़ हो गया।
रिपोर्ट के अनुसार, पूर्व प्राथमिक स्तर पर 12.2 करोड़ बच्चे, उच्च प्राथमिक स्तर पर 6.7 करोड़ बच्चे, माध्यमिक स्तर पर 3.9 करोड़ बच्चे और उच्च प्राथमिक स्तर पर 2.9 करोड़ बच्चों ने दाखिला लिया।
हाल के वर्षों में सभी स्तरों पर लड़कियों और लड़कों दोनों के मामले में स्कूली पढ़ाई छोड़ने की दर में गिरावट देखी गई है।

आर्थिक समीक्षा रिपोर्ट के अनुसार, उच्च शिक्षा में दाखिला वर्ष 2020 के 3.9 करोड़ से बढ़कर 2021 में 4.1 करोड़ दर्ज किया गया। वित्त वर्ष 2015 के बाद से इस स्तर पर करीब 72 लाख नामांकन बढ़ा है, जो 21 प्रतिशत की वृद्धि को दर्शाता है। उच्च शिक्षा के स्तर पर छात्राओं का नामांकन वर्ष 2020 के 1.9 करोड़ से बढ़कर वर्ष 2021 में दो करोड़ हो गया।

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PTI News Agency