विपक्षी दलों के सदस्यों के हंगामे के कारण लोकसभा की कार्यवाही दूसरी बार स्थगित

Monday, Jul 26, 2021 - 02:28 PM (IST)

नयी दिल्ली, 26 जुलाई (भाषा) पेगासस जासूसी मामला, तीन केंद्रीय कृषि कानूनों सहित विभिन्न मुद्दों पर विपक्षी दलों के सदस्यों के हंगामे के कारण सोमवार को लोकसभा की कार्यवाही एक बार के स्थगन के बाद दो बजकर करीब पांच मिनट पर अपराह्न 2:45 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गयी।

हंगामे के बीच ही वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने दिवाला और शोधन अक्षमता संहिता (संशोधन) विधेयक, 2021 पेश किया और मसूर दाल पर आयात शुल्क घटाकर शून्य करने तथा मसूर की दाल पर कृषि बुनियादी ढांचा विकास उपकर को भी आधा कर 10 प्रतिशत करने संबंधी अधिसूचना को पढ़ा।

आज सुबह निचले सदन की कार्यवाही शुरू होने पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने करगिल विजय दिवस पर वीर सैनिकों का स्मरण किया। सदन में सदस्यों ने कुछ पल मौन रखकर मातृभूमि की रक्षा के लिए सर्वोच्च बलिदान देने वाले सैनिकों के प्रति सम्मान प्रकट किया।
अध्यक्ष बिरला ने ओलंपिक में महिलाओं की 49 किलोग्राम वर्ग भारोत्तोलन स्पर्धा में रजत पदक जीतने वाली मीराबाई चानू की उपलब्धि का जिक्र किया और सदन तथा अपनी ओर से उन्हें बधाई दी।
इसके बाद बिरला ने जैसे ही प्रश्नकाल शुरू करने को कहा, वैसे ही कांग्रेस सहित कुछ विपक्षी दलों के सदस्य अपनी-अपनी मांगों के समर्थन में नारेबाजी करने लगे। कुछ सदस्यों ने अपने हाथों में तख्तियां ले रखी थीं। विपक्षी सदस्य ‘तानाशाही बंद करो’ के नारे लगा रहे थे।
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने शोर-शराबे के बीच ही प्रश्नकाल की कार्यवाही को आगे बढ़ाया। इस दौरान कुछ सदस्यों ने पूरक प्रश्न पूछे और केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान तथा वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने उनके जवाब भी दिये।
इस बीच, अध्यक्ष ओम बिरला ने सदस्यों से अपने स्थान पर लौटने का आग्रह किया।
बिरला ने शोर-शराबा कर रहे विपक्षी सदस्यों से कहा, ‘‘जनता ने आपको चुनकर भेजा है ताकि आप यहां उनके मुद्दे उठा सकें लेकिन आप नारेबाजी कर रहे हैं, तख्तियां लहरा रहे हैं।’’
उन्होंने कहा कि यह ठीक नहीं है। बिरला ने कहा कि सदस्य अपने स्थान पर जाएं और कार्यवाही चलने दें।

हालांकि, सदस्यों का हंगामा जारी रहा। व्यवस्था बनते हुए नहीं देख लोकसभा अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही सुबह 11 बजकर 25 मिनट पर दोपहर 2 बजे तक स्थगित कर दी।

बैठक पुन: शुरू होने पर कांग्रेस समेत कुछ विपक्षी दलों के सदस्य विभिन्न मुद्दों पर नारेबाजी करने लगे। शोर-शराबे के बीच ही वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने दिवाला और शोधन अक्षमता संहिता (संशोधन) विधेयक, 2021 पेश किया। उन्होंने मसूर दाल पर आयात शुल्क घटाकर शून्य करने तथा मसूर की दाल पर कृषि बुनियादी ढांचा विकास उपकर को भी आधा कर 10 प्रतिशत करने संबंधी अधिसूचना को भी पढ़ा।

पीठासीन सभापति किरीट सोलंकी ने नारेबाजी कर रहे विपक्षी सदस्यों से अपने स्थानों पर जाने और कार्यवाही चलेने देने का अनुरोध किया। लेकिन हंगामा नहीं थमने पर उन्होंने बैठक को करीब पांच मिनट बाद ही अपराह्न 2:45 बजे तक स्थगित कर दिया।

गौरतलब है कि पेगासस जासूसी मामला, तीन कृषि कानूनों के विषय सहित कुछ अन्य मुद्दों पर विपक्षी सदस्यों के हंगामे के कारण संसद के मॉनसून सत्र के दौरान पिछले सप्ताह भी कामकाज बाधित रहा था।

यह आर्टिकल पंजाब केसरी टीम द्वारा संपादित नहीं है, इसे एजेंसी फीड से ऑटो-अपलोड किया गया है।

PTI News Agency

Advertising